Wednesday, 14 October 2015

laloo

बेचारे लालू कैसे करें चुनाव प्रचार !

"लालू यादव को EC ने लगाई फटकार, कहा: जातिगत टिप्पणी को लेकर रहें सतर्क-एक खबर "
किंतु इस देश में जातियों के अलावा लालू जी को कुछ पता ही नहीं है तो बोलें अाखिर क्या !समाज को या तो उनकी जातियाँ बताकर सवर्णों के विरुद्ध भड़काते या विरोधी नेताओं को गालियाँ देते हैं और ये सब बंद करें दें तो बेचारे लालू कैसे करें चुनाव प्रचार !



लालू जी ! माँ शेरावाली को बचाना ही होता तो तुम्हारे शिर पर पंखा पटकती क्यों ?
"लालू जी पर गिरा पंखा,तो बोले मां शेरावाली ने बचा लिया - एक खबर"
लालू जी ! अभी तो वार्निंग देकर छोड़ दिया है माँ शेरावाली ने कि लालू जी अभी भी सुधर जाओ !अन्यथा वार्निंग ऐसी तो एक्सन कैसा होगा कल्पना कीजिए लालू जी !
लालू जी ! जितना ऊटपटाँग तुम बोलते हो गो हत्या का अप्रत्यक्ष समर्थन करते हो , दलितों को खुश करने के लिए सवर्णों पर सौ प्रतिशत झूठे आरोप लगाते हो !नवरात्र जैसे पवित्र पर्वों का लिहाज किए बिना 'बधिया' जैसे कितने गंदे गंदे शब्द बोलते हो ! आपकी ऐसी ही हरकतों से झल्ला कर माँ शेरावाली ने पटक दिया तुम्हारे ऊपर पंखा !







लालू की रैली में नहीं पहुँचे लोग -एक खबर
 किंतु चुनावों के समय नटों का खेल देखने कौन जाए ! ये तो लोकतंत्र के महान पर्व चुनावों का समय है इसमें बिहार का जनता जनार्दन बिहार का भाग्य बदलने में व्यस्त  है !डिस्टर्व न करो लालू जी ! शांत रहो ये समय मनोरंजन का नहीं है ।

               एक अपराधी की मदद से नितीश बनना चाह रहे हैं मुख्यमंत्री !
     मेरे प्रिय बिहारबासियो ! याद रखना कि भ्रष्टाचार मुक्त शासन तो ईमानदार लोग ही दे सकते हैं !
  बंधुओ ! किसी अपराधी के हाथों  में सत्ता देकर आप स्वच्छ और ईमानदार प्रशासन की उम्मींद कैसे कर सकते हैं जिसकी  अविश्वसनीय गतिविधियों के कारण उसे धक्का देकर चुनावों से बाहर धकेला गया हो वो बिहार को स्वच्छ प्रशासन देने की बात कर रहा है !

 जब वोट लेना हो तो दलित और पिछड़े और जब मुख्यमंत्री बनाना हो तो राबड़ी !
 बारे  दलित प्रेम ! लालूजी! ये ड्रामा अब जनता समझने लगी है कि लालू जी को चुनावों के समय दलित गरीब याद आ जाते हैं और जब मुख्यमंत्री बनना होता है तब दिखती हैं राबड़ी ! वोट माँगने हैं तो दलित गरीब याद आते हैं और जब पैसे इकठ्ठा करना हो तो अपने बेटा बेटी !लालू जी ! आपका नौवीं पास बेटा करोड़ों पति कैसे हो गया और बिहार के दलित और पिछड़े आज भी गरीब क्यों हैं ?

            दलितों की दुनियाँ उजाड़ने वाले लालू जैसे नेता वोट लेने के समय बन जाते हैं उनके हमदर्द !
 पशुओं का चारा हजम करने वाले ने दलितों पिछड़ों को बक्स दिया होगा क्या ? लालू जी !आखिर आपका धंधा रोजगार क्या है और वो करते कब हैं आप !आपकी सारी  संपत्ति आपके खून पसीने की कमाई है क्या !दलितों गरीबों पशुओं आदि के हक़ हजम करने वाले महापुरुष लालू जी ! आज घर भर घूम रहे हैं जहाजों पर चढ़े किसकी कमाई से !

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