Monday 28 January 2019

पूर्वानुमान

                पूर्वानुमान लगाने के क्षेत्र में क्रांतिकारी पहल !      
                                        मैथ से मौसम का पूर्वानुमान -
                         Forecasting All Subjects  - Nature And Life 
         मौसम के संबंध में पूर्वानुमान  की परिकल्पना है तो जीवन के संबंध में क्यों नहीं ?जीवन क्या मौसम से कम मूल्यवान है !जब जीवन ही नहीं रहेगा तब मौसम कैसा भी हो उससे क्या लेना देना !इसलिए मौसम के साथ साथ जीवन से संबंधित संभावित प्रत्येक घटना का भी पूर्वानुमान खोजा जाना चाहिए ये मनुष्य का अधिकार है ताकि वो जीवन से संबंधित किसी भी क्षेत्र में संभावनाओं का लाभ जितना अधिक से अधिक ले सकता हो उसमें कोई कोर कसर छूटे नहीं !कोई व्यक्ति अपनी शिक्षा गुणों आदि का उपयोग करते हुए उसका पूर्ण लाभ ले सके !इसलिए पूर्वानुमान जीवन के क्षेत्र में भी परम आवश्यक हैं !
     वर्षा-बाढ़,आँधी-तूफान आदि कब होगा हमारे लिए जितना जरूरी यह जानना है उससे कम जरूरी नहीं हैं हमारे लिए जीवन से संबंधित घटनाओं के पूर्वानुमान !जीवन के जिस क्षेत्र में जो जैसा जितना कुछ पाने की चाह में प्रयास कर रहा होता है निरंतर प्रयासों के बाद भी वो उसमें से क्या कितना हासिल कर पाएगा नहीं कर पाएगा !या सारा जीवन उसी में घुट घुट कर उसे मरना होगा !ऐसी परिस्थिति उसके सामने इसीलिए घटित होती है क्योंकि उसे जीवन से संबंधित पूर्वानुमान पता नहीं होते हैं चाहे अनचाहे उनके जीवन में ऐसी अप्रिय घटनाएँ घटित होती चली जाती हैं उसके पास सहने के अलावा और कोई दूसरे विकल्प नहीं होते हैं !
       पूर्वानुमान शब्द से हम सभी परिचित हैं किसी भी घटना के घटित होने से पहले ही यदि उस घटना के विषय में पूर्वानुमान लगाकर भविष्यवाणी कर दी जाए और वो सच निकल जाए तो ये उसका सटीक पूर्वानुमान है! पूर्वानुमान लग जाने से अच्छी घटनाओं का लाभ लेने के अधिक से अधिक प्रयास कर लिए जाते हैं जिससे लाभ की मात्रा प्रयास पूर्वक बढ़ा ली जाती है ठीक इसी प्रकार से हानिकर संभावना वाले प्रकरणों में अपने बचाव के लिए अधिक से अधिक प्रयास कर लिए जाते हैं!जिनमें कुछ प्रतिशत तक बचाव हो भी जाता है !कोई घटना घटने से रोकी तो नहीं जा सकती है किंतु उससे बचाव का प्रयास अवश्य कर लिया जाता है !इसप्रकार से पूर्वानुमानों का हमारे जीवन में बहुत बड़ा योगदान है इसीलिए हमारे लिए ये बहुत आवश्यक भी हैं !
     सूखा-वर्षा-बाढ़,आँधी-तूफान आदि घटनाएँ मानव जीवन को बहुत प्रभावित करती हैं ऐसी घटनाओं से  काफी नफा नुकसान होते देखा जाता है !इसलिए मनुष्य स्वभाव से ही हानि की आशंका से हमेंशा आशंकित रहता है और लाभ के प्रति हमेंशा आशान्वित रहता है!इसलिए उसे किसी भी विषय से संबंधित पूर्वानुमान जानने की जिज्ञासा हमेंशा बनी रहती है !  
  मनुष्य की  प्रकृति से संबंधित चिंताएँ -
    कब सूखा पड़ेगा ?कब पानी बरसेगा या बाढ़ आएगी ? कब आँधी तूफान आएगा ? इस प्रकार की प्राकृतिक घटनाओं का पूर्वानुमान जानना हमारे लिए महत्त्वपूर्ण होता है क्योंकि ऐसी प्राकृतिक घटनाएँ हमारे जीवन को प्रभावित करती हैं !
    हमारे लिए जितना जरूरी प्रकृति से संबंधित पूर्वानुमान विषय में यह सब जानना है उससे कम जरूरी  जीवन से संबंधित चिंताएँ भी नहीं हैं उनके विषय में भी पूर्वानुमान लगाना हमारे लिए बहुत आवश्यक है !
                   जीवन से संबंधित चिंताएँ 
      ये ऐसी चिंताएँ हैं जिससे प्रत्येक व्यक्ति को किसी न किसी रूप में जूझना पड़ता है !ऐसी आशंकाओं से अधिकाँश लोग पीड़ित हैं उन्हें लगता है कि उनकी बातों के विषय में भी उन्हें पूर्वानुमान उपलब्ध कराया जाए !उनकी यही पूर्वानुमान जानने की व्याकुलता उन्हें बेचैन किए रहती है!किंतु जीवन से संबंधित क्षेत्र में पूर्वानुमान लगाने की कोई उचित व्यवस्था न होने के कारण हैरान परेशान लोग बाबाओं,तांत्रिकों एवं मुल्ला मौलवियों के द्वारा फैलाए जा रहे अंधविश्वास में फँसा लिए जाते हैं !
        यदि मौसम से संबंधित पूर्वानुमान आवश्यक है तो जीवन से संबंधित पूर्वानुमान जानना आवश्यक क्यों नहीं है !
       - स्त्री पुरुषों के मन में अक्सर कौंधते रहने वाले सवाल-
  • हमारा स्वास्थ्य कब तक ठीक रहेगा ?
  • हमें जो रोग है वह कब ठीक होगा ?
इसी प्रकार से -  
  • हमारा मानसिक स्वास्थ्य कब तक ठीक रहेगा ?
  • हमें जो तनाव है वह कब ठीक होगा ?
इसी प्रकार से -  
  • हमारी शिक्षा कैसी रहेगी ?
  • शिक्षा के लिए कौन कौन वर्ष अच्छे या बुरे होंगे ?
  • हमारे लिए किस वर्ष में किस विषय को पढ़ना ठीक रहेगा ?
  • किस विषय को पढ़कर हमें आजीविका प्राप्त हो सकती है ?
इसी प्रकार से -   
  • हमारा विवाह कब होगा ?
  • हमारा विवाह यदि इस लड़की या लड़के के साथ होगा तो कब तक शांति पूर्ण निर्वाह होगा ?तनाव किस किस वर्ष होगा और कितने समय के लिए होगा ?किस पक्ष से होगा ?
  • हमारी पत्नी या पति हमारे साथ जो कलह करते हैं वो कब तक चलेगा ?
 इसी प्रकार से -
  • इस लड़के और इस लड़की का विवाह कर दिया जाए तो इन्हें संतान होने की संभावना किस वर्ष होगी ?
  • संतान पाने के लिए ये पति पत्नी जो चिकित्सा ले रहे हैं उससे लाभ कब तक होगा ?
इसी प्रकार से - 
  •  हमें व्यापार में लाभ होगा या नौकरी में ?
  • हमें जीवन के किस वर्ष में व्यापार से लाभ होगा ?
  •  जो काम हम करना चाह रहे हैं या कर रहे हैं क्या उससे लाभ होगा ?
  • जिस साझेदार के साथ हम काम कर रहे हैं या करना चाह रहे हैं क्या उसके साथ लाभ होगा ?
  • नौकरी में सीनियर से परेशानी कब तक चलेगी ?
     इसी प्रकार से -  
  • यह घर हमारे लिए सुख शांतिप्रद रहेगा क्या ?
  • जिस घर में हम रह रहे हैं वहाँ स्वास्थ्य एवं सुख शांति का वातावरण कब बनेगा ? 
 इसी प्रकार से -   
  •   हम जिस परिवार ,संस्था,संगठन,कंपनी आदि में जिन जिन लोगों के साथ रह रहे हैं उनमें से किस स्त्री या पुरुष सदस्य के साथ संबंध अच्छे रखने के लिए कैसा वर्ताव करना होगा ?जिसके जिससे साथ संबंध बिगड़ चुके हैं उन्हें सुधारने के लिए किसे किस प्रकार का कितना सुधार करना होगा ?  
 इसी प्रकार से -    
  •  हम राजनैतिक क्षेत्र में सफल हो सकेंगे क्या ?
  • हमें राजनीति में किस वर्ष में सफलता मिलेगी ?
  • हमें किस नाम के राजनैतिक दल में सफलता मिल सकती है ?
  • किस नेता का मन जीतने के लिए उसके साथ हमें कैसा व्यवहार करना ठीक रहेगा ?
  • राजनीति में हमारे चारों ओर जितने भी लोग हैं उनमें से किस पर किस विषय में कितना विश्वास करना चाहिए ?
        इस प्रकार की और भी बहुत सारी दुविधाएँ जीवन में आती हैं जिस जगह व्यक्ति को ये समझ में नहीं आता है कि वो इधर जाए या उधर !कई बार तो उसे एक तरफ कुआँ तो दूसरी तरफ खाई दिखाई पड़ती है ऐसी दुविधापूर्ण परिस्थिति में उसे ये समझ में नहीं आता है कि वो कौन सा रास्ता चुने !किधर जाए किधर न जाए ! ऐसे समय में बढ़ते तनाव को रोकने के लिए एक ही विकल्प होता है कि वो संभावित मार्गों का पूर्वानुमान पता लगाए और जिधर अधिक सुरक्षित और सुविधापूर्ण आशा दिखाई पड़े वो उधर ही जाए !
                              Forecasting All Subjects  - Nature And Life    
                    
       आधुनिक मौसम विज्ञान के क्षेत्र में पूर्वानुमान के लिए कोई उपयुक्त विधा है ही नहीं इसीलिए वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि के विषय में उनके द्वारा लगाए गए पूर्वानुमान प्रायः गलत ही होते हैं !क्योंकि उनके पास इसके लिए कोई उचित आधार नहीं है !यही कारण है कि जब वो लोग मौसम से संबंधित पूर्वानुमान ही सही  बता पाने में अभी तक असमर्थ हैं तो वो जीवन से संबंधित पूर्वानुमान लगाने की हिम्मत ही नहीं जुटा सके !वैसे भी प्रकृति से संबंधित पूर्वानुमान वे कितने भी झूठ बताया करते हैं लोग उतना ध्यान नहीं देते हैं !लंबे समय तक पूर्वानुमान लगातार गलत निकलते रहने के कारण किसानों का भारी नुक्सान होता रहा किसान आत्महत्या करते चले जा रहे थे !इसलिए अब अधिकाँश लोगों ने मौसम विभाग की भविष्यवाणियों पर ध्यान देना ही छोड़ दिया है !किंतु इतना बढ़ा झूठ यदि मौसम वैज्ञानिक किसी व्यक्ति के व्यक्तिगत जीवन के संबंध में बोलेंगे तो वो कैसे सह पाएगा फिर इन्हें जवाब देना मुश्किल हो जाएगा इसलिए उन बेचारों ने पहले से ही हाथ खड़े कर रखे हैं कि जीवन के विषय में वे भविष्यवाणियाँ कर ही नहीं सकते हैं !
     अब बात Forecasting All Subjects  - Nature And Life  की करें तो हमारे यहाँ   प्रकृति से लेकर जीवन तक से संबंधित प्रत्येक क्षेत्र का पूर्वानुमान लगाया जाता है जो लगभग 70 प्रतिशत सही घटित होता ही है अधिक भी हो सकता है किंतु कम नहीं !वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान वायुप्रदूषण आदि का पूर्वानुमान सफलता पूर्वक लगा लिया जाता है !भूकंप की पहेली सुलझाने में भी एक सीमा तक सफलता मिली है संभव है कुछ वर्षों में भूकंपों  के पूर्वानुमान के विषय में भी कोई बड़ा रहस्य उद्घाटित हो !ऐसी आशा की जानी चाहिए !
       इसी प्रकार से जीवन के प्रत्येक क्षेत्र से संबंधित पूर्वानुमान लगाने में भी हमें सफलता मिली है !जिससे बहुत लोग लाभान्वित भी हो रहे हैं !अपनी सभी प्रकार की शंकाओं का समाधान ले रहे हैं !
         समयविज्ञान के आधार पर मैथ के माध्यम से हम सूर्य चंद्र के विषय में गंभीर अनुसंधान कर रहे हैं !सूर्य चंद्र का प्रभाव जितना प्रकृति पर पड़ता है उतना ही जीवन पर पड़ता है इस विधा से किए जाने वाले पूर्वानुमान प्रकृति से लेकर जीवन तक सही एवं सटीक घटित होते हैं !

       
 
    प्रकृति की तरह ही जीवन से संबंधित पूर्वानुमान भी लगाए जाने चाहिए जिससे मनुष्य शरीर ,मन,संबंधों एवं बनती बिगड़ती रहने वाली परिस्थितियों का पूर्वानुमान लगाया जा सकता है !जिसके विषय में आधुनिक विज्ञानं के क्षेत्र में अभी तक कोई अनुसंधान किया जा रहा हो ऐसा मुझे नहीं लगता है !जबकि प्राचीन विज्ञान में जीवन से संबंधित पूर्वानुमान लगाने की पद्धतियाँ हैं !


          'मौसम' शब्द से  हमसभी केवल प्राकृतिक वातावरण के रूप में ही परिचित रहे हैं!सूखा वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि प्राकृतिक घटनाएँ ही मौसम के अंतर्गत जानी जाती रही हैं !प्रकृति जब अस्वस्थ होती है तब इस प्रकार की प्राकृतिक घटनाएँ घटित होती हैं !इस प्रकार से सूखा वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि ये सभी प्रकृति में होने वाले बदलाव हैं जो समय के साथ साथ होते जाते हैं जैसे जैसे समय बदलते जाता है वैसे वैसे सब कुछ बदलता जाता है !उसी बदलाव में सूखा वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि प्राकृतिक घटनाएँ घटती चली जाती हैं !प्रकृति में इस प्रकार के होने वाले परिवर्तनों के पीछे समय होता है !भविष्य में जब जैसा समय आएगा तब तैसी घटनाएँ घटित होती चली जाएँगी किंतु कब कैसा समय आएगा इसका पूर्वानुमान समयगणित से ही गणना कर के लगाया जा सकता है !
        इस संसार में जो जो कुछ दिखाई पड़ता है वो सब समय के अधीन है समय जैसे जैसे बदलता जाता है वैसे वैसे सब कुछ बदलता है !शरीर बदलता है स्वरूप बदलता है स्वास्थ्य बदलता है स्वभाव बदलता है संबंध बदलते हैं परिस्थितियाँ धन संपत्ति बदलती है पद प्रतिष्ठा बदलती है !ये सभी परवर्तन समय के साथ साथ होते देखे जाते हैं !

    जिस प्रकार से प्रकृति रोगी होती हैं उसी प्रकार से शरीर मन स्वभाव संबंध परिवार व्यापार आदि सब कुछ रोगी होता जाता है 
 इसीप्रकार से शरीर में भी रोग होते हैं शरीर स्वस्थ रहते रहते अचानक अस्वस्थ होने लगता है !पेट रोग ज्वर रोग आदि कुछ भी होते देखा जाता है !
      ऐसे ही मन में रोग होते हैं स्वस्थ और प्रसन्न मन अचानक चिंता तनाव भय ग्रस्त रहने लगता है!इससे तरह तरह के मानसिक रोग होते देखे जाते हैं !
       ऐसे ही संबंधों को रोगी होते देखा जाता है कुछ संबंध हैं जो अच्छे भले चल रहे होते हैं अचानक उनमें बिगाड़ आने लगता है!
     ऐसे ही परिस्थितियों को रोगी होते देखा जाता है अपने चारों ओर की परिस्थितियाँ अचानक रोगी होने लगती हैं !सभी लोग अचानक रूठने लग जाते हैं सभी काम अचानक बिगड़ने लग जाते हैं व्यापार चौपट होने लगता है बहुत लोग अचानक घृणा करने लगते हैं बिना किसी गलती के केस मुकदमों आदि का सामना करना पड़ जाता है !समाज में अकारण अपमानित होना पड़ता है !
    कुछ मकान रोगी हो जाते हैं उस समय वहाँ रहने वालों का मन नहीं लगने लगता है घर में लोग रोगी होने लग जाते हैं संतान होने में बाधा होती है !घर का धन नष्ट होने लगता है अच्छे तरीके और अच्छी लागत से बना हुआ भोजन भी स्वादहीन होने लगता है! घर की शोभा बिगड़ने लग जाती है घर को सजाने सँवारने सुंदर बनाने आदि श्रृंगार के सारे प्रयास असफल होने लगते हैं घर से प्रकाश समाप्त होने लगता है घर का कुछ भाग टूटने लगता है !आपसी कलह बढ़ जाता है  आग लग जाती है!घर में रखी हुई खाने पीने की चीजें अनुमान से कम दिन चल पाती हैं!घर में लाया गया धन अति शीघ्र समाप्त हो जाता है !सोते समय अच्छी नींद नहीं आती है!कोई परछाईं दिखाई पड़ती है कुछ अज्ञात आवाजें सुनाई  पड़ती हैं किसी के हँसने या रोने का स्वर सुनाई पड़ता है कुछ चीजें इधर उधर फैली या बिखरी मिलती हैं !जलाए हुए दीपक अतिशीघ्र बुझ जाते हैं अच्छे से अच्छा बल्व लगाने से भी उतना प्रकाश नहीं हो पता है जितना होना चाहिए पेंट पोताई कराने पर अतिशीघ्र पुराना लगने लगता है !
     कुछ संस्थाएँ सरकारें राजनैतिकदल गैर राजनैतिक संगठन कंपनियाँ उद्योग आदि अचानक रोगी होने लगते हैं और वो अकारण बर्बाद होने लगते हैं !लोगों में आपसीविवाद होने लगते हैं !
      ऐसे और भी बहुत सारे विषय हैं जो अकारण बनने या बिगड़ने लग जाते हैं !इनका बनना और विगड़ना भी हमारे जीवन के लिए बहुत महत्वपूर्ण होता है !इसलिए प्राचीन भारत में ऐसे सभी विषयों में पूर्वानुमान लगाकर इस बात को जाना जाता है कि निकट भविष्य में हमें किस किस प्रकार की घटनाओं का सामना करना पड़  सकता है उससे बचाव या सावधानी के लिए हमें क्या क्या करना चाहिए !
     वर्तमान समय में हम इसप्रकार की परंपरा धीर धीरे लुप्त होती जा रही है जिससे तरह तरह की समस्याएँ असहन शीलता उन्माद रोग तनाव अपराध आदि बढ़ते चले जा रहे हैं ! जिससे समाधान के  लिए वही प्राचीन विद्या ही मैंने  अत्यंत अनुसंधान पूर्वक इस सेवा को प्रारंभ किया है !जिससे बहुत लोग लाभान्वित हो रहे हैं !                                                                                                                                                                                 आधुनिक विज्ञान के द्वारा केवल मौसम पूर्वानुमान ही लगाने का दावा किया जाता है ये अलग बात है कि उसमें से अधिकाँश पूर्वानुमान गलत निकल जाते हैं !फिर भी जितने प्रतिशत सही निकल पते हैं उनका लाभ तो समाज को मिलता ही है !                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                                               


हो सकती हैं हमारे
            
     


    ऐसे ही मन में रोग होते हैं    

 प्रकार से शरीर जब अस्वस्थ होता है

' प्रकृति और जीवन में समय की भूमिका ' से संबंधित अनुसंधान में सहयोग हेतु !

    महोदय
      हमारे रिसर्च का उद्देश्य "प्रकृति और 'जीवन' में समय की भूमिका का पता लगाना है! प्रकृति में सभी प्रकार की घटनाएँ घटित होने का समय निश्चित है सूर्य चंद्र उदित कब होंगे अस्त कब होंगे !ग्रहण किस अमावस्या पूर्णिमा में पड़ेगा किसमें नहीं ,समुद्र में ज्वार भांटा कब कब होगा ,सर्दी कब आएगी गर्मी कब होगी वर्षा कब होगी आदि घटनाओं के घटित होने का समय निश्चित है ये सब अपने अपने समय पर घटित हो रही हैं !प्राचीन काल में गणित विद्या से अनुसंधान पूर्वक इन घटनाओं के पूर्वानुमान की विधि खोजी जा सकी थी !जिसके द्वारा सुदूर आकाश में स्थित सूर्य चंद्र ग्रहणों का पूर्वानुमान लगा पाना भी संभव हो पाया था !
     इससे ये  सिद्ध होता है कि प्रकृति और जीवन की अधिकाँश घटनाएँ अपने अपने समय सिद्धांत के अनुसार घटित होती हैं !सर्दी गर्मी वर्षा आदि किस वर्ष कम होगी किस वर्ष अधिक होगी ! सूखा कब पड़ेगा, आँधी तूफ़ान कब होगा ,बाढ़ कब आएगी ,वायुप्रदूषण कब बढ़ेगा ,भूकंप कब आएँगे ,आग लगने की घटनाएँ कब अधिक घटित होंगी, समाज में उन्माद कब फैलेगा !किन किन देशों या व्यक्तियों में आपसी संबंध कब बनेंगे कब बिगड़ेंगे !किस समय किस प्रकार के रोग फैलेंगे ? कौन कब रोगी होगा कब स्वस्थ होगा !किसे कब मानसिक तनाव होगा कब नहीं होगा आदि और भी बहुत सारी प्रकृति एवं जीवन से संबंधित घटनाएँ हैं वो समय सिद्धांत के अनुसार अपने अपने पूर्व निर्धारित निश्चित समय से  घटित होती हैं किंतु इनके पूर्वानुमान की कोई विधा न होने के कारण ऐसी सभी घटनाओं के पूर्वानुमान की विधि अभी तक नहीं खोजी जा सकी है!इसीलिए मौसम वैज्ञानिकों के द्वारा किए जाने वाले मौसमसंबंधी सभी पूर्वानुमान प्रायः ढुलमुल होते हैं !
     इसीलिए मैं लगभग पिछले तीस वर्षों से वेदविज्ञान की उसी प्राचीनविधा से अनुसंधान करता चला आ रहा हूँ जिसमें अत्यंत उत्साह वर्धक परिणाम प्राप्त हुए हैं मुझे विश्वास है कि इस विधा से प्रकृति और जीवन से सम्बंधित  अनेकों विषयों के सटीक पूर्वानुमान लगाए जा सकेंगे साथ ही उन घटनाओं के घटित होने के कारणों पर भी अध्ययन करना आसान होगा !

Friday 25 January 2019

वायु प्रदूषण लिंक

 वायु प्रदूषण - 2018
                                        9 -13 नवंबर
 दिसंबर 
जनवरी - 

Thursday 24 January 2019

अनुसंधान कार्य

 आदरणीय आडवाणी जी 
                               आपको सादर नमस्कार !

 विषय - ' प्रकृति और जीवन में समय की भूमिका ' से संबंधित अनुसंधान में सहयोग हेतु !

     महोदय
       हमारे रिसर्च का उद्देश्य "प्रकृति और 'जीवन' में समय की भूमिका का पता लगाना है! प्रकृति में सभी प्रकार की घटनाएँ घटित होने का समय निश्चित है सूर्य चंद्र उदित कब होंगे अस्त कब होंगे !ग्रहण किस अमावस्या पूर्णिमा में पड़ेगा किसमें नहीं ,समुद्र में ज्वार भांटा कब कब होगा ,सर्दी कब आएगी गर्मी कब होगी वर्षा कब होगी आदि घटनाओं के घटित होने का समय निश्चित है ये सब अपने अपने समय पर घटित हो रही हैं !प्राचीन काल में गणित विद्या से अनुसंधान पूर्वक इन घटनाओं के पूर्वानुमान की विधि खोजी जा सकी थी !जिसके द्वारा सुदूर आकाश में स्थित सूर्य चंद्र ग्रहणों का पूर्वानुमान लगा पाना भी संभव हो पाया था !
      इससे ये  सिद्ध होता है कि प्रकृति और जीवन की अधिकाँश घटनाएँ अपने अपने समय सिद्धांत के अनुसार घटित होती हैं !सर्दी गर्मी वर्षा आदि किस वर्ष कम होगी किस वर्ष अधिक होगी ! सूखा कब पड़ेगा, आँधी तूफ़ान कब होगा ,बाढ़ कब आएगी ,वायुप्रदूषण कब बढ़ेगा ,भूकंप कब आएँगे ,आग लगने की घटनाएँ कब अधिक घटित होंगी, समाज में उन्माद कब फैलेगा !किन किन देशों या व्यक्तियों में आपसी संबंध कब बनेंगे कब बिगड़ेंगे !किस समय किस प्रकार के रोग फैलेंगे ? कौन कब रोगी होगा कब स्वस्थ होगा !किसे कब मानसिक तनाव होगा कब नहीं होगा आदि और भी बहुत सारी प्रकृति एवं जीवन से संबंधित घटनाएँ हैं वो समय सिद्धांत के अनुसार अपने अपने पूर्व निर्धारित निश्चित समय से  घटित होती हैं किंतु इनके पूर्वानुमान की कोई विधा न होने के कारण ऐसी सभी घटनाओं के पूर्वानुमान की विधि अभी तक नहीं खोजी जा सकी है!इसीलिए मौसम वैज्ञानिकों के द्वारा किए जाने वाले मौसमसंबंधी सभी पूर्वानुमान प्रायः ढुलमुल होते हैं !
      इसीलिए मैं लगभग पिछले तीस वर्षों से वेदविज्ञान की उसी प्राचीनविधा से अनुसंधान करता चला आ रहा हूँ जिसमें अत्यंत उत्साह वर्धक परिणाम प्राप्त हुए हैं मुझे विश्वास है कि इस विधा से प्रकृति और जीवन से सम्बंधित  अनेकों विषयों के सटीक पूर्वानुमान लगाए जा सकेंगे साथ ही उन घटनाओं के घटित होने के कारणों पर भी अध्ययन करना आसान होगा !
     इस अनुसंधान को और अधिक विस्तार दिया जाना चाहिए जिसके लिए मुझे और अधिक धन एवं संसाधनों  की आवश्यकता है!अतएव मेरा आपसे विनम्र निवेदन है कि आप मेरे इस अनुसंधान कार्य को आगे बढ़ाने में मेरी मदद करें !



होंगी सबका समय निश्चित होता है और सभी घटनाएँ अपने अपने समय से घटित होती चली जा रही हैं !
      पुराने समय में ऐसे विषयों पर अनुसंधान हुए जिससे प्रकृति संबंधी कई बड़े रहस्यों को खोलने में सफलता भी मिली !किस दिन सूर्य चंद्र कितने समय पर उदित होंगे कब अस्त होंगे, किस अमावस्या या पूर्णिमा को ग्रहण पड़ेगा कब नहीं पड़ेगा सर्दी गर्मी वर्षा आदि ऋतुओं का क्रम क्या होगा ,आदि बातों का गणित के द्वारा सटीक पूर्वानुमान लगाने में सफलता उसी युग में मिल गई थी !इससे ये सिद्ध होता है कि संसार की सभी घटनाएँ समय से संबंधित हैं किन्हीं कारणों से जिनका पूर्वानुमान लगाने का उस युग में प्रयास नहीं किया जा सका उन विषयों में आज तक पूर्वानुमान लगा पाना संभव नहीं हो सका है !
     विश्व के आधुनिक मौसम वैज्ञानिकों के द्वारा सटीक मौसमपूर्वानुमान लगाने में अभी तक सफलता हासिल नहीं की जा सकी है !इसीलिए उनके मौसम पूर्वानुमान जब जब गलत हो जाते हैं तब तब उन्हें ग्लोबल वार्मिंग और जलवायु परिवर्तन जैसी झूठी कहानियाँ गढ़नी पड़ती हैं जबकि प्राचीन वेद विज्ञान के आधार पर आज भी काफी पहले मौसम पूर्वानुमान लगा लिया जाता है !
      इसी प्राचीन वेदविद्या के आधार पर मैं लगभग पिछले तीस वर्षों से प्रकृति और जीवन से संबंधित अनेकों विषयों पर अनुसंधान करता चला रहा हूँ जिसके परिणाम अत्यंत उत्साह बर्धक एवं सटीक सिद्ध हुए हैं !जिन्हें मैं आज भी कहीं किसी के सामने प्रस्तुत करने को तैयार  हूँ जो झुठलाए नहीं जा सकते !इसी अनुसन्धान को और अधिक विस्तार देने के लिए मुझे धन एवं संसाधनों की आवश्यकता है !
      मेरी आपसे अपेक्षा है कि आप इस अनुसन्धान कार्य को और अधिक विस्तार देने के लिए हमारी मदद करें !


सरकार केवल आधुनिक विज्ञानं को ही विज्ञानं मानती है

वर्षा बाढ़ आँधीतूफान भूकंप बर्फवारी यहाँ तक कि जैसी प्राकृतिक घटनाएँ भी एक ही समय में कई देशों शहरों में घटित होते देखी जाती हैं!
     इसी प्रकार से स्वास्थ्य संबंधी समस्याएँ भी सामूहिक और व्यक्तिगत दोनों प्रकार की होती हैं सामूहिक बीमारियों में बहुत सारे लोग एक ही समय में एक जैसे रोग से पीड़ित हो जाते हैं ऐसे रोगियों पर एक निश्चित समय तक चिकित्सा का असर नहीं होता है !व्यक्तिगत रोग पर यदि चिकित्सा का असर न हो रहा हो तो ऐसे रोग समय से होते हैं और समय से ही जाते हैं !
इस विषय में मैं पिछले लगभग तीस वर्षों से अनुसंधान करता चला आ रहा हूँ !जिसमें प्रकृति और जीवन से संबंधित अधिकाँश घटनाओं में मैंने पाया कि प्रकृति या जीवन में जो कुछ भी घटित हो रहा है वो सब समय के अनुसार ही घटित हो रहा होता है !अच्छे समय में सब कुछ अच्छा अच्छा होता है जबकि बुरे समय में बुरा होते देखा जाता है !
     स्वास्थ्य के क्षेत्र में समय की बड़ी भूमिका है !किसी व्यक्ति का जब समय ख़राब होता है तभी उसे शारीरिक रोग और मानसिक तनाव बढ़ता है !उस समय अच्छे लोग उसका साथ छोड़ने लगते हैं काम बिगड़ने लगते हैं !कुल मिलाकर मनुष्य के द्वारा किए गए सभी प्रकार के प्रयास उसके समय के अनुसार ही सफल या असफल होते देखे जाते हैं ! 
       इसी प्रकार से प्रकृति में भी सूखा वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि प्राकृतिक दुर्घटनाएँ एवं सामूहिक रोग भी समय के कारण घटित होते हैं! ऐसा होते अनुभव किया जाता रहा है !
    सूर्य और चंद्र के ग्रहण भी प्राकृतिक घटना हैं जो अपने निश्चित समय पर ही घटित होते हैं !जिस प्रकार से 'समय' से संबंधित गणित करके सूर्य और चंद्र के ग्रहणों का पूर्वानुमान लगा लिया जाता है !उसी प्रकार से प्रकृति में और जीवन में घटित होने वाली घटनाओं का पूर्वानुमान भी सिद्धांतगणित के द्वारा लगाया जा सकता है !ऐसा विचार करके  इस प्रक्रिया से मैंने अभी तक प्रकृति और जीवन के विषय में जो भी पूर्वानुमान लगाए हैं वे काफी सच होते दिखाई देते हैं !
     प्रकृति में या जीवन में कब कैसी घटनाएँ घटित होंगी इसके लिए सिद्धांतगणित ,आयुर्वेद ,बनस्पति एवं जीवजंतुओं के आकारों प्रकारों तथा स्वभाव परिवर्तनों का विस्तृत अध्ययन अनुसंधान करना आवश्यक है !इसके द्वारा सूखा वर्षा बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि प्राकृतिक घटनाओं का महीनों पहले पूर्वानुमान लगाया जा सकता है ! 
       मुझे विश्वास है कि यह अनुसंधान प्राकृतिक एवं जीवन से संबंधित घटनाओं का पूर्वानुमान लगाने में बड़ी भूमिका निभा सकता है !जो मौसम और मानव जीवन से संबंधित घटनाओं का पूर्वानुमान लगाने के लिए महत्वपूर्ण सहयोगी सिद्ध होगा !इस अनुसंधान को मैं और अधिक आगे बढ़ाना चाहता हूँ इसके लिए हमें आपसे आर्थिक मदद की अपेक्षा है !

Tuesday 15 January 2019

प्रदूषण


प्रदूषण दशहरे में बढ़े तो - रावण के पुतले जलाए जाने से बढ़ता है प्रदूषण ! 
प्रदूषण दिवाली में बढ़े तो - दीपावली के मौसम में पटाखों से बढ़ता है वायु प्रदूषण 
साँप वाली टिकिया'फैलाती है सबसे ज्यादा प्रदूषण ! 
प्रदूषण गर्मी में बढ़े तो - तापमान बढ़ने के कारण हवा में बढ़ता है प्रदूषण !
प्रदूषण सर्दी में बढ़े तो - हवा में मौजूद प्रदूषित कणों के  एयरलॉक होने से बढ़ता है प्रदूषण ! 
पराली जलाने के समयबढ़े तो - पराली जलाए जाने से दिल्‍ली में बढ़ रहा है प्रदूषण! 
 प्रदूषण दिल्ली में बढ़े तो - भलस्वा लैंडफिल साइट से उठा धुआँ फैलाता है सबसे ज्यादा प्रदूषण ! 
जब कोई बहाना न मिले तो - दिल्ली की भौगोलिक स्थिति वायु प्रदूषण के लिए जिम्मेदार ! 
 बाहन दिखें तो - धुएँ के रूप में जहर उगल रहे वाहनों से  बढ़ रहा है प्रदूषण !
फैक्ट्रियाँ दिखें तो - फैक्ट्रियों से निकलने वाली गैसों के कारण जहरीली हो रही है हवा !
 मकान बनते दिखें तो - कंस्ट्रक्शन के कारण बढ़ता है वायु प्रदूषण !
ईंट भट्ठे चलते दिखें तो - ईंट भट्ठों से निकलने वाले धुएँ के कारण प्रदूषण !
सजे धजे लोग दिखें तो -  परफ्यूम और हेयर जेल से खतरनाक होती है हवा !
अरब देशों में आँधी दिखे तो -अरबदेशों में आने वाली आँधी से फैलता है दिल्ली में वायु प्रदूषण !

दिल्‍ली में बढ़ रहे वायु प्रदूषण पर 44 टीमें रखेंगी नजर, होगी सख्‍त कार्रवाई!
प्रदूषण रोकने में नाकामयाब हुई दिल्ली सरकार NGT ने लगाया 50 करोड़ का जुर्माना !
दिल्ली में प्रदूषण की असली वजह क्या है किसी को नहीं पता !
वायु प्रदूषण के पता लगाने का नया सिस्टम :अब 3 दिन पहले ही मिल जाएगी जानकारी !  
       
                               इस लचर सिस्टम के  बारे में मेरा विनम्र निवेदन -
    

Monday 14 January 2019


दिल्ली के प्रदूषण के लिए दिल्ली की भौगोलिक कारण जिम्मेदार !

- दीपांकर साहा 

      केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अपर निदेशक दीपाकर साहा का मानना है कि यह स्मॉग नहीं फॉग है। उन्होंने पराली को भी इसके लिए जिम्मेदार मानने से इन्कार किया है। साहा सोमवार को दैनिक जागरण के नोएडा कार्यालय में एनसीआर में वायु प्रदूषण से बने हालात व समाधान विषय पर आयोजित जागरण विमर्श में बतौर अतिथि वक्ता पहुंचे थे। 
         दिल्ली की भौगोलिक स्थिति भी इसके लिए जिम्मेदार है। इस मौसम में यहा हवा उत्तर व दक्षिण दिशा से आती है। दक्षिण की ओर से आने वाली हवा हिमालय के कारण दिल्ली से बाहर नहीं जा पाती है, इससे उत्तर की ओर से आने वाली हवा भी घूमकर यहीं लौट आती है। वाहनों-जेनरेटर का धुआ, औद्योगिक गतिविधियों और निर्माण कार्य आदि से उठने वाली धूल हवा में मिल रही है। यह प्रदूषित हवा बाहर नहीं निकल पा रही है, जिससे यह स्थिति बन गई है।
सिर्फ पराली ही नहीं है कारण
         दीपाकर साहा ने स्पष्ट किया कि जब दिल्ली में हवा आने की ही जगह नहीं है तो यहां की हवा को जहरीला बनाने के लिए पराली का धुआ कैसे दोषी है। उन्होंने बताया कि पराली जलाने से सल्फर डाइआक्साइड नहीं निकलती इसलिए इसे स्मॉग के लिए जिम्मेदार बिल्कुल नहीं ठहराया जा सकता। उन्होंने बताया कि पराली साल में दो बार जलाई जाती है, लेकिन समस्या सिर्फ इसी मौसम में होती है।
ऑड-इवेन व कृत्रिम बारिश नहीं है समाधान
ऑड-इवेन व कृत्रिम बारिश क्षणिक समाधान हैं। साहा के मुताबिक जैसे ही यह प्रयोग बंद किया जाएगा, स्थिति जस की तस हो जाएगी। क्योंकि 15 अक्टूबर से 15 दिसंबर के बीच मौसम दिल्ली-एनसीआर का साथ नहीं देता तो हम सभी का प्रयास होना चाहिए कि हमारी तरफ से बिल्कुल भी प्रदूषण न फैले। हमें इस वक्त औद्योगिक गतिविधियां, निर्माण कार्य, थर्मल पावर प्लाट व जेनसेट आदि को बंद रखना चाहिए। कूड़ा न जलाएं, वाहन कम इस्तेमाल करें, तभी हालात पर काबू पाया जा सकेगा।

Saturday 12 January 2019

चक्रवात

      1864 में चक्रवात के कारण कलकत्ता में हुई क्षति और 1866 और 1871 के अकाल के बाद, मौसम संबंधी विश्लेषण और संग्रह कार्य एक ढ़ांचे के अंतर्गत आयोजित करने का निर्णय लिया गया। नतीजतन, 1875 में भारतीय मौसम विज्ञान विभाग की स्थापना हुई। हेनरी फ्रांसिस ब्लैनफर्ड विभाग के पहले मौसम विज्ञान संवाददाता नियुक्त किया गए। मई 1889 में, सर जॉन एलियट तत्कालीन राजधानी कलकत्ता में वेधशालाओं के पहले महानिदेशक नियुक्त किया गए। मौसम विज्ञान विभाग का मुख्यालय 1905 में शिमला, फिर 1928 में पुणे और अंततः नई दिल्ली में स्थानांतरित किया गया।[2] भारतीय मौसम विज्ञान विभाग स्वतंत्रता के बाद 27 अप्रैल 1949 को विश्व मौसम विज्ञान संगठन का सदस्य बना।

Thursday 10 January 2019

सिद्धांत

   भारतीयमौसमविभाग की स्थापना के उद्देश्यों की पूर्ति ऐसे कैसे होगी ?

   "1864 में कलकत्ते में आए भीषण चक्रवात से बड़ी जनधन हानि हुई थी !इसके बाद 1866 और 1871 ईस्वी में भीषण अकाल पड़ा जिनमें भयंकर जनधन हानि हुई थी !"
      ऐसी प्राकृतिक घटनाओं से भयभीत होकर ही प्राकृतिक घटनाओं के पूर्वानुमान लगाने के लिए 1875 ईस्वी में भारतीय मौसम विभाग की स्थापना की गई थी !इसके सञ्चालन पर एवं इससे संबंधित अनुसंधानों के लिए बहुत बड़ी धनराशि खर्च की गई जो जनता के खून पसीने के टैक्स से वसूली गई थी !भारतीय मौसम विभाग की स्थापना हुए आज 143 वर्ष बीत चुके हैं ! भारतीय मौसम विभाग अपने उद्देश्यों की पूर्ति में कितना सफल हो पाया है ?  
1. 16 जून 2013 को उत्‍तराखंड बाढ़ में हजारों लोग मारे गए जिसका पूर्वानुमान नहीं बताया गया था !
 
2. 2016 के अप्रैल मई में इतनी अधिक गर्मी पड़ी सूखा पड़ा कि ट्रेनों से पानी पहुँचाया गया !इस समय अकारण आग लगने की बीसों हजार घटनाएँ घटीं जब बिहार सरकार को दिन में चूल्हा न जलाने और हवन  न करने की अपील करनी पड़ी !ऐसा इसी वर्ष क्यों हुआ इसपर मौसम विभाग ने कहा कि रिसर्च करेंगे !आज तक नहीं पता लगा कि क्या हुआ उस रिसर्च से निकले निष्कर्ष का ?
 
3. 2018 के मई जून में भीषण आँधी तूफानों से भारी जन धन की हानि हुई ऐसा इसवर्ष क्यों हुआ और इसके बिषय में मौसम विभाग के द्वारा दिए गए सभी पूर्वानुमान गलत क्यों होते रहे !मौसम विभाग की चेतावनी पर 8 मई को तो आँधी तूफ़ान की आशंका के कारण स्कूल कालेज भी बंद करवा दिए गए थे किंतु कोई तूफान नहीं आया था ! इसके अलावा भी आँधी तूफानों से संबंधित लगभग सभी भविष्यवाणियाँ गलत सिद्ध होती रहीं !बाद में मौसम विभाग के DG ने स्वीकार  किया कि चक्रवात आँधी तूफान आदि चुपके चुपके से आते रहे जिनका पूर्वानुमान नहीं लगाया जा सका !
 
4. 3 अगस्त को मौसम विभाग ने तृतीय चरण अर्थात अगस्त और सितंबर के पूर्वानुमान घोषित करते हुए अगस्त और सितंबर में सामान्य वर्षा की भविष्यवाणी की गई थी किंतु 7 अगस्त से केरल में भीषण बारिश होनी शुरू हो गई जिसमें केरल में बाढ़ का संकट खड़ा हो गया था!इस पर केरल के मुख्यमंत्री ने कहा कि मौसम विभाग के द्वारा पूर्वानुमान नहीं लगाए जा सके !
5. दिल्ली में बढ़ते वायु प्रदूषण के वास्तविक कारणों की खोज अभी तक नहीं की जा सकी है !
6. वायु प्रदूषण के विषय में  पूर्वानुमान लगाने की व्यवस्था अभी तक नहीं की जा सकी है !
7. भूकंप आने के बिषय में कुछ काल्पनिक कारणों के अलावा अभी तक निश्चित और विश्वसनीय कारण नहीं खोजे जा सके हैं पूर्वानुमान की कसौटी पर जिनका परीक्षण किया जा सके ! 
 
जलवायु परिवर्तन -
     आधुनिक मौसम वैज्ञानिक लोग जब जिस प्रकार की प्राकृतिक घटनाएँ घटित होने की भविष्यवाणियाँ करते हैं यदि वैसा हो तब तो वो भविष्यवक्ता बन जाते हैं और यदि वैसा न हो उसके विरुद्ध कुछ हो जाए तो वो पानी बरसने को या तूफ़ान आने की भविष्यवाणी करें और वो गलत हो जाए तो सारा दोष ग्लोबलवार्मिंग और जलवायु परिवर्तन जैसी मनगढंत अवधारणाओं पर मढ़कर अपनी साख को बचा लिया जाता है !
     अक्सर मौसम संबंधी जब जैसी घटनाएँ घटनाएँ घट जाती मौसम विभाग कुछ सप्ताह बाद तक उसी प्रकार की प्राकृतिक घटनाएँ और अधिक घटित होने की भविष्यवाणियाँ करते रहता है !जिनका कोई आधार नहीं होता है !वायु प्रदूषण हो या बर्षा 24 ,48 और 72 घंटे की अवधि दे देकर मौसम विभाग अपनी भविष्यवाणियों को आगे खिसकाता चला जाता है !ये पूर्वानुमान नहीं कहे जा सकते !पूर्वानुमान तो तब माने जाते जब घटना घटित होने से पूर्व एक बार भविष्यवाणी करके चुप बैठ जाए इसके बाद वो भविष्यवाणियाँ सही घटित होते चली जाएँ !
 2 मई 2018 को भीषण तूफान आया जिसमें बड़ी जनधन हानि हुई इसके बाद मौसम विभाग ने 5 मई एवं 8 मई को भी भीषण तूफ़ान आने की भविष्यवाणी की 8 मई की तो इसी आशंका से स्कूल कालेज तक बंद करवा दिए गए किंतु कोई तूफ़ान नहीं आया !यही ट्रिक मौसम विभाग के द्वारा सभी प्रकार की प्राकृतिक घटनाओं के विषय में अपनाई जाती है !जनता के द्वारा प्रतीकार या FIR करने पर या मीडिया के द्वारा घेरे जाने पर मौसम वैज्ञानिक अपनी साख बचाने के लिए ग्लोबलवार्मिंग और जलवायुपरिवर्तन जैसे निराधार मनगढंत ब्रह्मास्त्रों के पीछे छिप जाते हैं !प्राकृतिक घटनाओं के ऐसे सभी प्रकरणों में देखा जा सकता है !
 
इसमें अगस्त की भविष्यवाणी और चुपके चुपके तूफ़ान लगाने हैं !
 


 
 

पूर्वानुमान तभी चक्रवात का पूर्वानुमान लगाने के लिए    मौसम का पूर्वानुमान करने के लिए कोई ठोस आधार चाहिए जो आधुनिक विज्ञान के पास अभी तक ऐसा कुछ नहीं है सुपर कंप्यूटर की भी मौसम के बिषय में कोई सीधी भूमिका नहीं है !उसका काम डाटा कलेक्ट करना और उसके आधार पर तालमेल बैठाना होता है किंतु मौसम के पूर्वानुमान की प्रक्रिया यदि वही रहेगी जिसके आधार पर लगाया गया मौसम पूर्वानुमान अभी तक गलत होता रहा है तो सुपर कंप्यूटर उसे सही कैसे कर देगा !पिछले तेरह वर्षों में लगाए गए दीर्घावधि मौसम पूर्वानुमानों  में 8 वर्ष के पूर्वानुमान गलत निकल गए मात्र 5 वर्ष के ही सही निकले !ऐसे पूर्वानुमानों से सरकार एवं समाज का क्या लाभ !ऐसे पूर्वानुमानों से कृषि को क्या सहयोग मिल सकता है !इसी प्रकार से वर्षा के और पूर्वानुमान भी आधे से अधिक गलत निकल जाते हैं !
     
   

इसलिए एवं 2018 के मई जून में लगाए गए आँधी तूफान संबंधी पूर्वानुमान लगभग गलत ही निकल जाते रहे !मौसम विभाग की चेतावनी पर 8 मई को तो आँधी तूफ़ान की आशंका के कारण स्कूल कालेज भी बंद करवा दिए गए थे किंतु कोई तूफान नहीं आया था इसके अलावा भी आँधी तूफानों से संबंधित लगभग सभी भविष्यवाणियाँ गलत सिद्ध होती रहीं !बाद में मौसम विभाग के DG ने स्वीकार  किया कि चक्रवात आँधी तूफान आदि चुपके चुपके से आते रहे जिनका पूर्वानुमान नहीं लगाया जा सका !
     3 अगस्त को मौसम विभाग ने अगस्त और सितंबर के पूर्वानुमान घोषित करते हुए अगस्त और सितंबर में सामान्य वर्षा की भविष्यवाणी की थी किंतु 7 अगस्त से केरल में भीषण बारिश होनी शुरू हो गई और केरल में बाढ़ का संकट खड़ा हो गया !
      भूकंपों के विषय में सरकारों के द्वारा कराए जा रहे इतने लम्बे

  7 मई को आँधी तूफान की भविष्यवाणी गलत हुई स्कूल कालेज भी बंद
अनुमान यदि इतना कमजोर है

अभी तक होता रहा है अंतर इतना होगा कि पहले की अपेक्षा कुछ जल्दी हो जाएगा एक कुछ अधिक डाटा !

भी नहीं क्योंकि उसका मौसम से सीधा कोई केवल गणना करता सकता है जबकि मौसम की गणना करने लायक जिस प्रकार से कोई ग्रहण कब पड़ेगा इसके कारण सूर्य चंद्र या पृथ्वी आदि तीन में से किसी एक में या इन तीनों में ही विद्यमान नहीं होते हैं अपितु इन तीनों के ही एक विशेष परिस्थिति में आ जाने से ग्रहण की घटना घटित हो जाती है !
      सूर्य चंद्र और पृथ्वी ये तीनों ऐसी परिस्थिति में कब आएँगे  जिसमें ग्रहण होता है इसके लिए सूर्य चंद्र और पृथ्वी का अलग अलग कितना भी अनुसंधान कर लिया जाए किंतु उससे ग्रहण के विषय में पता नहीं लगाया जा सकता है कि ग्रहण कब पड़ेगा !
     वस्तुतः ग्रहण सूर्य चंद्र और पृथ्वी तीनों के संयुक्त प्रभाव से घटित होता है ये तीनों कब किधर कितना किस गति(स्पीड)  से चलेंगे इसके लिए ये तीनों स्वतंत्र नहीं होते क्योंकि इन तीनों की गति पथ इनके अपने बश में नहीं होता है इसीलिए ये उसमें तिल भर भी परिवर्तन नहीं कर सकते हैं!इनके गति और पथ का निर्णय समय के अनुसार है जब जैसा समय आता है इन्हें तब तैसे चलना पड़ता है! उनके अपने अपने स्वभाव के अनुसार विचरण करने से यदि कोई ग्रहण घटित हो ही जाता है तो उस ग्रहण के घटित होने में इन तीनों की मुख्य भूमिका होने के बाद भी ग्रहण इन तीन में से किसी का उद्देश्य नहीं होता है !ग्रहण की घटना लगभग उसी प्रकार घटित होती है जिस प्रकार से आकाश में उड़ रहे बादलों की छाया पृथ्वी पर पड़ रही होती है !
      इसमें सूर्य बादल हवा और पृथ्वी का इस घटना के विषय में आपस में कोई संबंध भले न रहा हो और  इनका उद्देश्य भी ऐसा न रहा हो जिसकी पूर्ति के लिए ये गमन करते रहते हों फिर भी छाया  के घटित होने में इन चारों की ही मुख्यभूमिका होती है !सूर्य अपने स्वभाव के अनुसार हमेंशा की तरह अपना तेज प्रकट कर रहा होता है !हवा अपने स्वभाव के अनुसार उड़ रही होती है बादल अपने स्वभाव के अनुसार हवा की गति के साथ उड़ रहे होते हैं !पृथ्वी अपने स्वभाव के अनुसार बादलों की छाया भी उसी भाव से सह रही होती है जैसे जैसे आकाश की ओर से आ रही सर्दी गर्मी प्रकाश अंधकार धूप धूल छाया आदि सब कुछ सहा करती है !सूर्य चंद्र ग्रहण भी इसी  प्रकार का एक संयोग मात्र होता है!
    प्रकृति में या जीवन में जितनी भी घटनाएँ घटित होती हैं उनके कारण सूर्य चंद्र और हवा ही ! समय के प्रभाव से सूर्य चंद्र पृथ्वी हवा आदि के विचरण करते रहते हैं घटनाएँ घटित होती चली जाती हैं !इनका गति पथ कब कैसा होगा ये केवल समय को समझने वाले लोग ही जान सकते हैं !सिद्धांत गणित के सूत्रों के द्वारा सूर्य चंद्र पृथ्वी हवा आदि के गति पथ एवं स्वभाव को समझा जा सकता है इनकी संभावित परिस्थितियों का पूर्वानुमान लगाया जा सकता है !इनके विषय में पूर्वानुमान लगाया जा सकता है!
     सिद्धांत गणित के इसी विज्ञान के द्वारा भारतीय ऋषियों ने सृष्टि के आरम्भ में ही सूर्य चंद्र ग्रहणों से लेकर मौसम के सभी प्रकारों का पूर्वानुमान लगाने की खोज कर ली !इसी के बल पर वे सैकड़ों वर्ष पहले सूर्य चंद्र ग्रहणों का पूर्वानुमान लगा लिया करते थे !वर्षा  बाढ़ सूखा आँधी तूफान वायु प्रदूषण बढ़ने आदि का पूर्वानुमान लगा लिया जाता था !उसी पद्धति से आज भी हमारे यहाँ ऐसी प्राकृतिक घटनाओं का पूर्वानुमान लगा लिया जाता है !

Tuesday 8 January 2019

परिस्थितियाँ समय की गुलाम हैं !

      सर्व शक्तिमान समय का मूल स्वरूप तो एक ही है जिससे संपूर्ण सृष्टि का संचालन होता है प्रकृति उसी समय के अनुशार समय समय पर अपने आकार प्रकार स्वभाव स्वरूप आदि में विभिन्न प्रकार के बदलाव धारण करती रहती है जो ऋतुओं के माध्यम से विभिन्न प्रकार के मौसम के रूप में दिखाई पड़ता है !समय किसी की परवाह किए बिना आगे बढ़ता जाता है प्रकृति और जीवन में बदलाब होते जाते हैं जो पेड़ आज छोटा है कल बड़ा हो गया इसमें पेड़ ने कुछ न नहीं किया केवल समय बीता है! उस समय पर समय ही ऐसा था कि उस समय वो पेड़ छोटा ही हो सकता था बाद में जब उस पेड़ के बड़े होने का समय आया तो पेड़ को बड़ा होना ही था इन दोनों परिस्थितियों में पेड़ तो वैसा ही बना रहा केवल समय बदलता गया तो पेड़ का स्वरूप भी बदलता चला गया !पेड़ में पड़े खाद पानी आदि का भी सहयोग रहा किंतु केवल खाद पानी के प्रभाव से यदि पेड़ का बड़ा होना संभव होता तो एक दिन बहुत सारा खाद पानी देकर पेड़ को एक ही दिन में बड़ा नहीं किया जा सकता है !यही स्थिति संसार के समस्त चराचर जगत की है !मनुष्य भी समय के साथ बढ़ते हैं !

     इसी प्रकार से जो समय जिसके अस्वस्थ रहने का होता है वो समय आते ही वो व्यक्ति अवस्थ हो जाता है और जो समय उसके स्वस्थ होने का आता है वो समय आते ही वो स्वस्थ होने लगता है यही कारन है कई लोग स्वदेश से विदेश तक चिकित्सा करवाते हैं किन्तु कोई लाभ नहीं मिलता किंतु कुछ दिन बाद वे अपने आप से ही स्वस्थ होने लगते हैं क्योंकि उस समय उनके स्वस्थ होने का समय आ चुका होता है !ऐसे ही जब जिसके जन्म होने का समय आता है तब उसका जन्म हो जाता है और जब मृत्यु का समय आता है तब उसकी मृत्यु हो जाती है ! कुछ रोगी अत्यंत सक्षम सभी सुख सुविधाओं से संपन्न होते हैं ऐसे रोगी रोग प्रारंभ होते ही अत्यंत सुयोग्य चिकित्सकों के तत्वावधान में उत्तम चिकित्सा का लाभ लेने लगते हैं किंतु यदि समय उनके स्वस्थ होने का नहीं अपितु मृत्यु का चल रहा होता है तो चिकित्सा का असर नहीं होता और समय का असर होता है इसीलिए सघन चिकित्सा सुविधा पा रहे रोगियों को भी  मरते जाता है !कई बार सुदूर गाँवों जंगलों में रहने वाले चिकित्सा सुविधा से बंचित रोगियों को भी स्वस्थ होते देखा जाता है उनके बड़े बड़े घाव भर जाते हैं चिकित्सक उन्हें औषधि देकर भी बताता है कि ये दवा इतनी मात्रा में इतने दिन लेनी होगी तब स्वस्थ होगे!समय का महत्त्व न होता तब तो उस औषधि की अधिक मात्रा लेकर तुरंत भी स्वस्थ हुआ जा सकता था !इसलिए जब जिसके स्वस्थ होने का समय आता है तभी वो स्वस्थ हो पाता है!
    इसी प्रकार से जो समय जिसके तनाव का आता है उस समय ही उसे तनाव होता है परिस्थितियाँ कुछ भी क्यों न हों !कई बार बहुत अच्छी परिस्थतियों में भी तनाव होते देखा जाता है !जो लड़का जिस लड़की से विवाह करना चाहता है और जो लड़की जिस लड़के से विवाह करना चाहता है यदि वे दोनों जैसा चाहते हैं बिलकुल वैसा ही हो जाए तो भी जब उन दोनों के मन में एक दूसरे के प्रति तनाव का समय आता है तब उन्हें एक दूसरे से तनाव होने ही लगता है दोनों एक दूसरे से ऊभ जाते हैं एक दूसरे को देखना पसंद नहीं करते हैं एक दूसरे से तलाक ले लेते हैं !ऐसे में एक दूसरे से जब मिलने का समय हुआ तो एक दूसरे से मिलने के लिए तड़पने लगे जब बिछुड़ने का समय हुआ तब एक दूसरे से बिछुड़ने लगे !
       इस प्रकार से जितने समय तक  जिसे तनाव रहना होता है उतने समय तक ही रहता है उसके बाद ठीक हो जाता है !पहले जिन व्यक्तियों  वस्तुओं  या परिस्थितियों के न होने पर होने के लिए तनाव हुआ करता था बाद में उन्हीं के न होने के लिए तनाव होने लगता है ! जिस मकान गाड़ी आदि को प्राप्त करने के लिए पहले कभी तनाव हुआ करता था बाद में उन्हें छोड़ने या बेचने का तनाव हुआ करता है !ऐसी सभी परिस्थितियों में व्यक्ति वास्तु परिस्थितियाँ एक रहने पर भी दोनों का समय अलग अलग होता है जो समय जिससे मिलकर रहने का था उसमें उससे मिलकर खुश होने की इच्छा होती थी और जो समय जिससे अलग रहने का था उसमें उससे अलग होकर खुश रहने का मन करने लगता है !
      एक समय आदमी जिस तरह का व्यापार करने का या नौकरी पाने के लिए बहुत प्रयास करता है किंतु सफल नहीं होता है तो दूसरे समय वही व्यापार  या वही नौकरी आसानी से मिल जाती है और सफल हो जाते हैं !
        एक समय पति पत्नी स्वस्थ और सहज होते हैं तो भी उन्हें संतान नहीं हो रही होती है तो दूसरे समय केवल समय बदल जाता है और उन्हें संतान हो जाती है !
         जब वर्षा का समय आता है तो पानी से वर्षा ऋतु आती है
 
कभी अत्यंत को अत्यंत जिन व्यक्तियों वस्तुओं एक समय !
है परिस्थितियाँ कुछ भी क्यों न रही हों !
      
 
 
 दवा तो इतने समय में स्वस्थ होंगे वो समय की बिना टीका लगे हुए भी उनके बच्चे स्वस्थ रहते हैं



के साथ पेड़ के छोटेपन का संबंध था !इसी मौसम का जन जीवन पर पड़ने वाला विभिन्न प्रकार का प्रभाव समाज में विभिन्न प्रकार के बदलावों के रूप में दिखता है !इसके अलावा भी समय समय पर बदलते रहने वाले मनुष्यादि सभी प्राणियों के स्वास्थ स्वभाव आदि पर भी अनेकों रूपों में देखने सुनने को मिलता है !कई बार किसी क्षेत्र विशेष का बहुत बड़ा वर्ग एक साथ एक जैसे रोग से पीड़ित होने लगता है तो कई बार सभी स्वस्थ हो जाते हैं इसी प्रकार से कई बार मनुष्यों का कोई बड़ा वर्ग स्वभाव के बिषैले बदलाव का शिकार होकर उन्माद ग्रस्त हो जाता है और आपस में एक दूसरे से लड़ने झगड़ने लग जाता है और कुछ समय बाद वही लोग वैसी ही परिस्थितियों में भी आपस में प्रेम पूर्वक रहने लगते हैं ऐसे सामूहिक सभी प्रकार के अच्छे बुरे बदलाव समय के मूल स्वरूप से प्रेरित ही तो होते हैं !

Wednesday 2 January 2019

भूकंप,सुनामी, दुर्घटना ,आतंक,आंदोलन ,आग


                                                                       भूकंप -
7-11-2018 मणिपुर में भूकंप के झटके 
     इंफालः मणिपुर में बुधवार को तड़के 4.1 की मामूली तीव्रता वाला भूकंप आया। भारतीय मौसम विज्ञान ने बताया कि तड़के चार बजकर 20 मिनट पर भूकंप आया। इसका केंद्र चंदेल जिले में जमीन से 49 किलोमीटर की गहराई में था।see more...https://www.punjabkesari.in/national/news/earthquake-shocks-felt-in-manipur-901018 

मिजोरम के चंपाई में थरथराई धरती, 5.3 तीव्रता का भूकंप
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, आइजल Updated Sat, 10 Nov 2018 11:42 PM ISTशनिवार रात मिजोरम भूकंप के झटकों से थर्रा गया। राज्य के चंपाई इलाके में भूकंप के झटके महसूस किए गए। झटकों की तीव्रता 5.3 रिकॉर्ड की गई। भूकंप रात करीब 10.45 बजे के करीब आया था। see more...https://www.amarujala.com/india-news/earthquake-in-champai-of-mizoram-with-the-magnitude-of-5-3

Updated: November 11, 2018, 2:51 PM IST भारत-नेपाल बॉर्डर पर भूकंप के झटके
बताया जा रहा है कि 12 बजकर 37 मिनट और 32 सेकेंड पर भूकंप के झटके लोगों ने महसूस किए. इस कुछ क्षण के लिए धरती हिलने से लोगों में दहशत पैदा हो गई और उन्हें घरों से बाहर निकलना पड़ा.https://hindi.news18.com/news/nation/earthquake-of-magnitude-5-0-nepal-india-border-dlpg-1578422.html

न्यूज डेस्क/अमर उजाला, देहरादून Updated Sun, 11 Nov 2018 12:57 PM IST
उत्तराखंड: दो बार भूकंप के झटकों से हिला पिथौरागढ़, घरों से बाहर भागे लोगsee more....https://www.amarujala.com/dehradun/earthquake-tremors-twice-in-uttarakahnd-pithoragarh

Publish Date:Wed, 05 Dec 2018 12:30 PM (IST)
7.5 के जोरदार भूकंप से दहला न्यू कैलेडोनिया, सुनामी की चेतावनी और इलाका खाली करने के आदेश !न्यू कैलेडोनिया में जबरदस्त भूकंप के बाद सुनामी की चेतावनी जारी कर दी गई है। इसके अलावा अधिकारियों ने प्रशांत द्वीप को तुरंत खाली करने के भी निर्देश किए हैं।see more...https://www.jagran.com/world/other-tsunami-warnings-for-new-caledonia-vanuatu-after-strong-earthquake-of-seven-point-five-18716728.html

 फ्राँस में भूकंप - 7-12-2018 कैलेडोनिया 7 दिसंबर !कैलेडोनियामें शुक्रवार को तीव्र झटके महसूस किए गए इसकी तीव्रता 6. 2 थी !see more..... http://www.univarta.com/earthquake-shocks-in-france/world/news/1429252.html

 8-12-2018 जापान में भूकंप -
जापान के फुकुसीमा प्रान्त में शनिवार को भूकंप के तीव्र झटके लगे जिसकी तीव्रता 5. 1 आँकी गई ! यद्यपि सुनामी की कोई चेतावनी जारी नहीं की गई है see more... https://www.punjabkesari.in/international/news/earthquake-in-japan-916099

10 -12 -2018 -चीन के भूकंप और भूस्खलन में 3 3 की मौत और 5 घायल !
see more... https://www.punjabkesari.in/international/news/china-s-earthquake-and-landslide-kill-3-5-wounded-916894


जम्मू-कश्मीर के भद्रवाह में भूकंप का झटका
PTI / December 23, 2018
भद्रवाह, 21 दिसंबर (भाषा) जम्मू-कश्मीर में डोडा जिले के भालेसा इलाके के कुछ हिस्सों और भद्रवाह घाटी में शुक्रवार को मध्यम तीव्रता वाला भूकंप का झटका महसूस किया गया।मौसम विभाग के अधिकारियों ने बताया कि तड़के तीन बजकर 48 मिनट पर भद्रवाह में 3.7 तीव्रता वाला भूकंप का झटका महसूस किया गया।see more...https://hindi.business-standard.com/storypage_hin.php?autono=1276807
 
                                                                   आग


Dainik Bhaskar
Nov 12, 2018, 12:07 PM IST
अमेरिका / कैलिफोर्निया के जंगलों में 85 साल में सबसे भीषण आग, 31 की मौत, 200 लापता see more...https://www.bhaskar.com/international/news/death-toll-and-missing-numbers-rises-in-california-wildfires-01279495.html 

वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला Updated Mon, 17 Dec 2018 01:26 AM IST
रूस : घरों में लगी भीषण आग, छह बच्चों समेत 10 की मौतsee more...https://www.amarujala.com/world/10-dead-including-six-children-a-fierce-fire-in-homes-in-russia

Bokaro
By news wing On Dec 18, 2018
फुसरोः टेलर की दुकान पर गिरा हाईटेंशन तार, आगलगी से लाखों का नुकसान
25 से 30 लाख के नुकसान की आशंका,कड़ी मशक्कत के बाद आग पर पाया गया काबू !बेरमो थाना क्षेत्र के फुसरो बाजार स्थित भूतबंगला के पास फिट्विल साड़ी एंड टेलर दुकान में 17 सोमवार की रात भीषण आग लग गयी.see more...https://newswing.com/fusro-fire-in-store-burning-goods/82266/
मुंबई: अंधेरी के कामगार अस्पताल में आग, 8 की मौत, 146 घायल

नवभारतटाइम्स.कॉम | Updated:Dec 18, 2018, 09:00AM IST
मुंबई के ईएसआईसी कामगार अस्पताल में आग लगने से 8 लोगों की मौत हो गई है। सोमवार 17शाम हुए हादसे में करीब 146 लोग घायल हुए हैं। मौके पर अग्निशमन दल पहुंच गया है और बचाव कार्य तेजी से चल रहा है। आग पर काबू पाने की कोशिश की जा रही है।see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/metro/mumbai/other-news/mumbai-fire-broke-out-at-esic-kamgar-hospital-in-andheri-many-injured/articleshow/67129944.cms

भीषण अग्निकांड में तीन मकान जलकर राख, सात परिवार बेघर
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, शिमला Updated Tue, 17 Dec 2018 10:45 AM IST
शिमला जिले की चिड़गांव तहसील के सेरी वासा गांव में भीषण अग्निकांड का मामला सामने आया है। हादसे में एक गौशाला और तीन मकान जलकर राख हो गए हैं। अग्निकांड से सात परिवार बेघर हो गए। आग से करीब डेढ करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। see more...https://www.amarujala.com/shimla/four-houses-including-cowshed-gutted-in-fire-at-rohru-shimla 

भाषा | Updated:Dec 17, 2018, 03:06PM IST
कोलकाता में मिनीबस में लगी आग
कोलकाता, 17 दिसंबर (भाषा) मध्य कोलकाता में सोमवार की दोपहर एक मिनीबस में आग लग गयी। हालांकि घटना में किसी के हताहत होने की रिपोर्ट नहीं है। see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/state/other-states/kolkata/fire-in-minibus-in-kolkata/articleshow/67126805.cms

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, जीरकपुर Updated Tue, 18 Dec 2018 09:48 AM IST
जीरकपुर: हाईवे पर अवैध सब्जी मंडी में लगी भीषण आग, 170 दुकानें जलकर राख, तबाही का मंजर !चंडीगढ़-अंबाला हाईवे पर जीरकपुर में परमार पेट्रोल पंप के बैक साइड पर प्रीत कालोनी स्थित अवैध सब्जी मंडी में भीषण आग लग गई, जिसमें 170 दुकानें जलकर खाक हो गईं। सोमवार देर रात यह आग लगी। आग इतनी तेजी से फैली कि करीब 170 अवैध दुकानें जलकर राख हो गईं।see more...https://www.amarujala.com/chandigarh/fire-in-vegetable-market-under-zirakpur-flyover-on-chandigarh-ambala-highway

मीटर में स्पार्किंग से लगी आग, घर के बाहर खड़े पांच वाहनों को पहुंचा नुकसान
Publish Date:Mon, 17 Dec 2018 12:26 PM (IST)
मीटर में स्पार्किंग से लगी आग, घर के बाहर खड़े पांच वाहनों को पहुंचा नुकसान
चंडीगढ़ के सेक्टर 41 में घर के बाहर खड़े पांच दोपहिया वाहन आग की चपेट में आने से जलकर खाक हो गए।see more...https://www.jagran.com/punjab/chandigarh-five-two-wheeler-vehicle-damage-in-fire-at-chandigarh-18756700.html 

झेंगझोऊ 17 दिसंबर (शिन्हुआ) चीन के हेनान प्रांत में सोमवार को एक फैक्ट्री में लगी आग के कारण 11 लोगों की मौत हो गयी।स्थानीय प्रशासन ने इस बात की जानकारी दी। शांगकियू शहर की एक फैक्ट्री में स्थानीय समयानुसार सुबह करीब 11 बजे आग लग गयी जिसsee more....http://ashokanews.com/hi-in/blog/2018/12/18/fire-in-factory-china-11-deaths/  

हंबड़ा रोड कपड़ा फैक्टरी में लगी आग, माल जल कर राख
Panchkula bureauPanchkula bureau Updated Mon, 17 Dec 2018 10:35 PM IST
अमर उजाला ब्यूरो !लुधियाना। हंबड़ा रोड स्थित कपड़ा फैक्टरी में सोमवार दोपहर आग लग गई। देखते ही देखते आग ने भयंकर रुप धारण कर लिया। सूचना मिलने के बाद फायर ब्रिगेड की दस गाड़ियां मौके पर पहुंची। साढ़े तीन घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद भी आगsee more...https://www.amarujala.com/punjab/ludhiana/71545066139-ludhiana-news

Publish Date:Mon, 17 Dec 2018 07:35 PM (IST)संदिग्ध हालात में क्रेन के अंदर लगी आग, ¨जदा जला चौकीदार!जागरण संवाददाता, फरीदाबाद: एसजीएम नगर के राजा चौक पर रविवार रात क्रेन में संदिग्ध हालत में आग लग गई। उसमें रखवाली के लिए आगे सीट पर लेटर चौकीदार ¨जदा जल गया। see more....https://www.jagran.com/haryana/faridabad-crime-junk-guard-alive-inside-the-crane-after-a-fire-in-suspected-condition-18757930.html

                                बस दुर्घटना:
ख़बर न्यूज़ डेस्क, Updated: 8 दिसम्बर, 2018 11:42 AM
NEWS FLASH: जम्मू-कश्मीर : पुंछ में बस गहरी खाई में गिरी, 11 लोगों की मौत की आशंका
..see more...https://khabar.ndtv.com/news/breaking-news/breaking-news-exit-polls-assembly-elections-2018-rajasthan-madhya-pradesh-election-8-dec-2018-1959518

News18Hindi
Updated: December 23, 2018, 3:20 AM IST गुजरातः 300 फीट गहरी खाई में गिरी छात्रों से भरी बस, 10 की मौत !यह हादसा 22-12-2018 शनिवार शाम छह बजे के आसपास हुआ है।
मिली जानकारी के मुताबिक, 10 छात्रों की मौके पर ही मौत हो गई थी. जबकि 40 छात्र घायल थे. करीब 15 छात्र बस में ही फंसे हुए थे.see more....https://hindi.news18.com/news/nation/bus-carrying-school-going-kids-fell-off-10-killed-1628461.html
 
Updated: December 9, 2018, 12:08 PM IST महाराष्ट्र के चंद्रपुर में ट्रक-वैन की टक्कर में 11 लोगों की मौत, चार की हालत गंभीर
यह घटना उस वक्त घटी जब 14 लोगों को लेकर जा रही वैन रात करीब 9:30 बजे कोरपना-वानी रोड से गुजर रही थी.see more...https://hindi.news18.com/news/maharashtra/chandrapur-11-people-dead-4-critically-injured-in-a-collision-between-two-vehicles-1612085.html


 आतंक:
Updated Dec 09, 2018 | 12:38 IST | टाइम्स नाउ डिजिटल
मुठभेड़ श्रीनगर: आतंकियों और सुरक्षाबलों के बीच 24 घंटे से मुठभेड़ जारी, तीन आतंकी ढेर, 5 जवान घायल
देशश्रीनगर के मुजगुंड में सुरक्षाकर्मियों और आतंकवादियों के बाच शनिवार से ही मुठभेड़ जारी है। खबर है कि 3 आतंकी ढेर हो गए हैं जबकि 5 जवान घायल हो गए हैं। ऐहतियातन तौर पर इलाके में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई है।see more....https://hindi.timesnownews.com/india/article/srinagar-mujgund-encounter-between-terrorist-and-security-force-5-jawan-injured-internet-suspended/328311

आंदोलन: 
पेरिस में पीली जैकेट पहन कर सड़कों पर आए कई प्रदर्शनकारी !पेरिस, आठ दिसंबर (एएफपी) राष्ट्रपति इमैनुअल मैक्रों के खिलाफ पीली जैकेट पहने कई प्रदर्शनकारी शनिवार को चैम्प्स-एलीसी में सुबह-सुबह एकत्र हो गए। इसी स्थान पर पिछले शनिवार को हिंसा हुई थी। ‘येलो वेस्ट’ प्रदर्शन के मद्देनजर पेरिस को शनिवार को हाई अलर्ट पर रखा गया। राजधानी में विभिन्न स्थानों पर 650 से ज्यादा प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया ।see more....https://navbharattimes.indiatimes.com/india/many-protesters-on-the-street-wearing-yellow-jacket-in-paris/articleshow/67007137.cms   

aajtak.in [Edited By: राम कृष्ण]नई दिल्ली, 09 दिसंबर 2018, अपडेटेड 13:39 IST
संसद के शीतकालीन सत्र शुरू होने के ठीक दो दिन पहले राम मंदिर निर्माण के लिए अध्यादेश लाने की मांग को लेकर विश्व हिंदू परिषद (VHP) रविवार को दिल्ली के रामलीला मैदान में धर्मसभा कर रही है.see more....https://aajtak.intoday.in/story/delhi-ramlila-maidan-vishva-hindu-parishad-dharmsabha-construction-of-ram-mandir-in-ayodhya-live-update-1-1045808.html

बुलंदशहर, जेएनएन। स्याना में 3 दिसंबर को गोकशी को लेकर हुए बवाल में शहीद हुए कोतवाल सुबोध कुमार सिंह की हत्या में आरोपित माने जा रहे जितेंद्र मलिक उर्फ जीतू फौजी को सैन्य अधिकारियों ने शनिवार रात 1:00 बजे नोएडा एसटीएफ के सुपुर्द कर दिया। यहां से बुलंदशहर पुलिस उसको गिरफ्तार कर स्याना कोतवाली ले आई। एसटीएफ के सीओ ने मेरठ में बताया कि पूछताछ मेंsee more...https://www.jagran.com/uttar-pradesh/bulandshahr-sit-team-take-statement-of-bulandshahr-gokashi-main-accused-18730337.html

 

आँधी और तूफान final

   
                                        सितंबर 2018
  1. 12 सितंबर 2018  अमरीका पर मंडराता तबाही के तूफ़ान फ़्लोरेंस का ख़तराsee more...https://www.bbc.com/hindi/international-45493096
  2. sandhyapravakta.com Sep 12, 2018, 08:26 IST    पटना सहित राज्य के कई जिलों में आंधी- तूफान पटना सहित कई जिलों में दोपहर के बाद आई अचानक आँधी और तूफान के साथ ही हल्की बूंदा-बादी के बाद लोगों ने गर्मी सेsee more...https://news.raftaar.in/%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9 C%E0%A5%8D%E0%A4%AF-%E0%A4%9C%E0%A4%BF%E0%A4%B2-% E0%A4%8 6%E0%A4%82%E0%A4%A7%E0%A5%80-%E0%A4%A4%E0%A5%82%E0% A 4%A B% E0%A4%BE%E0%A4%A8/detail/e688f337885723 1890216 3c4a f06 3059
  3. Updated: 13 सितम्बर, 2018 10:28 AM अमेरिका में भयंकर तूफान से 54 लाख घरों पर संकट, 225 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चल रहीं हवाएंअमेरिका में तूफान फ्लोरेंस कैरोलिना कहर ढा रहा है.see more....https://khabar.ndtv.com/news/ wo rld/hurricane-florence-in-america-people-in-crisis-1915812
  4. 16 सितंबर 2018 चीन पहुंचा घातक मैंगकूट तूफ़ान, हाई अलर्ट पर कई शहरsee more...https://www. bbc.com/hindi/international-45541384 
  5. फिलीपींस में तबाही मचाने के बाद चीन पहुंचा मांखुत तूफान, 24.5 लाख लोगों को सुरक्षित निकाला गयाइम्स न्यूज नेटवर्क |see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/world/asian-countries/after-philippines-and-hong-kong-typhoon-mangkhut-hits-china/articleshow/65831197.cms
  6. Publish Date:Sun, 16 Sep 2018 12:16 AM (IST) अमेरिका में घातक हुआ फ्लोरेंस तूफान, पांच लोगों की मौत !see more....https://www.jagran.com/world/america-us-hurricane-florence-storms-in-carolina-5-people-die-can-increase-number-18429134.html
  7. भाषा | Updated:Sep 16, 2018, 10:03PM ISTk फिलीपींस में तूफान मांखुत से अब तक 62 की मौतsee more...https://navbharattimes. indiatimes .com/world/asian-countries/typhoon-mangkhut-head ing -towards-china/articleshow/65829474.cms
  8. Publish Date:Tue, 18 Sep 2018 02:43 PM (IST)अमेरिका: फ्लोरेंस तूफान का कहर जारी, अब तक 31 लोगों की मौतsee more....https://www.jagran.com/world/america-hurricane-florence-death-toll-rises-to32-18438772.html
  9. 27 सितंबर 2018 को 3:26 बजे लियूआ सितंबर में 70 वर्षों तक दक्षिण प्रशांत का पहला चक्रवात है see more...https://www.radionz.co.nz/international/pacific-news/367412/liua-is-south-pacific-s-fir st-cyclone-in-september-for-70-years navbharattimes.indiatimes.com 
  10. Sep 29, 2018, 17:45 ISTपश्चिमी जापान ओकीनावा पहुंचा शक्तिशाली तूफान, 17 लोग घायल  तेज हवाओं से पेड़ उखड़ गए जिससे रास्ते अवरुद्ध हो गए। सरकारी प्रसारणकर्ता एनएचके ने बताया कि ओकीनावा में करीब 700 लोगों को बचाकर सुरक्षित स्थानों पर ले जाया गया और करीब 200000 से ज्यादा घरों की बिजली काट दी गई। उसने बताया कि मुख्यत: पश्चिमी जापान में कम से कम 386 उड़ानें रद्द करsee more...https://news.raftaar.in/typhoon-hits-japan-trami-okinava-department-world-news-%E0%A4%93%E0%A4%95%E0%A5%80%E0%A4%A8%E0%A4%BE%E0% A4%B5%E0%A4%BE-%E0%A4%AA%E0%A4%B9%E0%A5%81%E0%A4%82%E0%A4%9A%E0%A4%BE-%E0%A4%A4%E0%A5%82%E0%A4%AB%E0%A4%BE%E0%A4%A 8-%E0%A4%B2%E0%A5%8B%E0%A4%97/detail/b943a42f164680 e923c1a5d949389897
                          अक्टूबर 2018
  1.  नवभारत टाइम्स | Updated:Oct 5, 2018, 03:36AM ISTजल्द ही तूफान‘लुबान’ से होगा उत्तर भारत का मौसम खुशनुमाsee more....https://navbharattimes. indiatimes.com/india/luban-cyclone-will-make-delhis-weather-pleasant/articleshow/660754 85.cms
  2. Dainik Bhaskar Oct 11, 2018, 09:27 AM IST तूफान / ओडिशा और आंध्र के तट से टकराया तितली; तटीय इलाकों में हो रही तेज बारिश, कई जगह भूस्खलन Cyclone Storm 'Titli' to hit NC AP on Oct 11, alert in odhishaचक्रवात ओडिशा तट से 280 किलोमीटर दूर बंगाल की खाड़ी में उठा। तितली बंगाल की खाड़ी से उठने वाला इस साल का दूसरा चक्रवाती तूफान !विशाखापट्टनम. चक्रवाती तूफान तितली आज सुबह ओडिशा के गंजम जिले के गोपालपुर और आंध्रप्रदेश के श्रीकाकुलम के तट से 140 से 150 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से आज सुबह 5 बजे   टकराया। इससे तटवर्ती इलाकों में तेज हवाओं के साथ बारिश हो रही है। दोनों राज्यों में कई जगहों पर भूस्खलन की खबर है। कई पेड़ और बिजली के खंभे उखड़ गए हैं। इसे अति गंभीर चक्रवाती तूफान की श्रेणी में रखाsee more...https://www.bhaskar.com/national/news/cyclone-storm-titli-to-hit-nc-ap-on-oct-11-alert-in-odhisha-0884600.html
  3. नई दिल्ली कोलंबो | एजेंसियां Last updated: Fri, 12 Oct 2018 03:34 AM IST'तितली’ से तबाही : चक्रवाती तूफान से भारत में 8 और श्रीलंका में 12 लोगों की मौत    Titli Cycloneबंगाल की खाड़ी में उठे ‘तितली’ तूफान ने गुरुवार को ओडिशा, आंध्रप्रदेश में भारी तबाही मचाई। तूफान के कारण आंध्रप्रदेश में आठ लोगों की मौत हो गई झारखंड और बंगाल भी प्रभावित। वहीं तितली से श्रीलंका में भी 12 लोगों के मारे जाने की see more....https://www.livehindustan.com/national/story-eight-killed-as-cyclone-titli-lashes-andhra-odisha-coast-leaves-thousands-stranded-2218295.html
  4. अमेरिका : प्रचंड हुआ फ्लोरिडा की ओर बढ़ रहा तूफान 'माइकल' वाशिंगटन, एजेंसीLast updated: Thu, 11 Oct 2018 03:17 AM ISTTyphoon Jebi likely to hit Japan on Tuesdayअमेरिका में फ्लोरिडा के खाड़ी तट की ओर बढ़ रहा तूफान माइकल श्रेणी-चार के 'अत्यधिक खतरनाक तूफान में तब्दील हो गया है। राष्ट्रीय तूफान केंद्र ने बुधवार को बताया कि तूफान 210 किलोमीटर प्रति घंटे see morre....https://www.livehindustan.com/international/story-america-hurricane-michael-makes-landfall-in-florida-largest-storm-to-hit-region-in-100-years-
  5. न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Updated Thu, 11 Oct 2018 03:36 PM IST ओडिशा में तूफान के बाद दिल्ली-एनसीआर में चल रही धूल भरी आंधी, गिरा पारा, किसानों को होगा नुकसानsee more....https://www.amarujala.com/delhi-ncr/dusty-storm-blows-in-delhi-ncr-merc ury-dips-far mers-will-face-consequence
  6. 14 अक्तूबर 2018 नेपाल: तूफ़ान में सात पर्वतारोहियों की see more...https://www.bbc.com/hindi/international-45853154
  7.  Dainik Bhaskar    Oct 25, 2018, 04:41 AM ISTन्यूयॉर्क | प्रशांत महासागर में उठा तूफान विला मंगलवार 25-10-2018को पश्चिमी मैक्सिको के तट से टकराया। इसके चलते पूरे इलाके.. न्यूयॉर्क | प्रशांत महासागर में उठा तूफान विला मंगलवार को पश्चिमी मैक्सिको के तट से टकराया। इसके चलते पूरे इलाके में भारी बारिश के साथ 120 किमी प्रति घंटे कीरफ्तार से हवा चल रही है।see more.... https: //www.bhaskar.com/mp/sagar/news/villa-storm-hits-the-coast-of-mexico-with-winds-blowing-at-120-km-h-044128-3052718.html  
  8. Dainik Bhaskar   Oct 25, 2018, 03:26 PM IST                                                                           राजस्थान / सम के रेतीले धोरों में तूफानी बारिश, उड़े टेंट; वाहनों में बैठ पर्यटकों ने बचाई अपनी जान     जैसलमेर. राजस्थान के सीमावर्ती जैसलमेर जिले के विश्व प्रसिद्ध पर्यटन स्थल सम के रेतीले धोरों में बुधवार रात आए तूफान ने तबाही मचा दी। रात मौसम एकाएक पलट गया और तेज हवा के साथ हल्की बूंदाबांदी शुरू हो गई। थोड़ी देर बाद तूफानी हवा चलने लग गई।इसके साथ तेज हुई बारिश व ओलावृष्टि से बचने को सभी पर्यटकों ने भाग कर वाहनों में बैठे। इससे पहले बुधवार को शाम तक मौसम एकदम साफ था, लेकिन रात नौ बजे हल्की बारिश ने थोड़ी देर में विकराल रूप धारण कर लिया।see more...https://www.bhaskar.com/rajasthan/jodhpur/news/border-area-jaisalmer-sum-sand-dunes-full-moon-thunder-shower-01152365.html                                              नवंबर 2018 
  1.  न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Updated Fri, 16 Nov 2018 10:44 AM IST   तमिलनाडु में चक्रवाती तूफान ‘गाजा’ ने मचाई तबाही, 22 की मौत, 81 हजार लोगो को सुरक्षित निकाला गया !तमिलनाडु के तट पार कर चुके भीषण चक्रवाती तूफान ‘गाजा’ राज्य में भारी तबाही मचाई है। तूफान की वजह से हुए हादसों में मरने वाले लोगों की संख्या 22 पहुंच गई है। राज्य में राहत और बचाव कार्य युद्ध स्तर पर चलाए जा रहे हैं। तमिलनाडु राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अनुसार, निचले इलाकों से 80 हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है। गाजा के असर से चलते राज्य के कई जिलों में भारी बारिश हो रही है।see more...https://www.amarujala.com/india-news/gaja-cyclone-could-cross-tamilnadu-coast-this-morning
  2. aajtak.in [Edited by: सुरेंद्र कुमार वर्मा]नई दिल्ली, 17 नवंबर 2018, अपडेटेड 13:30 ISTतमिलनाडु और पुड्डुचेरी में गाजा तूफान 2004 में आए सुनामी के बाद सबसे प्रलयकारी तूफान साबित हुआ. हालांकि इस बार सुनामी जैसी तबाही नहीं हुई, लेकिन जान-माल का काफी नुकसान जरूर हुआ. अब तक इस तूफान के कारण 36 लोगों की मौत हो चुकी है.करीब 110 किलो प्रति घंटा की स्पीड वाले गाजा तूफान के कारण राज्य के कई जिलों में करीब 13 हजार ट्रांसफॉर्मर गिर गए जबकि 5 हजार से ज्यादा पेड़ उखड़ गए. फिलहाल तूफान केरल की तरफ मूड़ गया है.see more...https://aajtak.intoday.in/story/cyclone-gaja-biggest-catastrophe-tamil-nadu-andaman-struck-tsunami-1-1041172.html
  3.  Publish Date:Mon, 19 Nov 2018 12:15 PM (IST)अब 18 नवंबर को वियतनाम में आया 'तोराजी' तूफान का कहर, 14 की मौत !वियतनाम में तूफान ‘तोराजी’ ने ढाया कहर, 14 की मौत हनोई। उष्णकटिबंधीय चक्रवातीय तूफान के बाद बारिश के कारण दक्षिण-मध्य वियतनाम में हुए भूस्खलन में कम से कम 14 लोगों की मौत हो गई है, जबकि चार अन्य के लापता होने की खबर हैं।see more....https://tahlkanews.in/%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%AF%E0%A4%A4%E0%A4%A8%E0%A4%BE%E0%A4%AE-%E0%A4%AE%E0%A5%87%E0%A4%82-%E0%A4%A4%E0%A5%82%E0%A4%AB%E0%A4%BE%E0%A4%A8-%E0%A4%A4%E0%A5%8B%E0%A4%B0%E0%A4%BE%E0%A4%9C%E0%A5%80/
  4.   24 November 2018 at 09:38Dainik BhaskarNov 22, 2018, 09:56 AM ISTस्पेन / 31 साल में सबसे बड़ा तूफान, समुद्र में 40 फीट ऊंची लहरें उठीं; कनारी द्वीप से 65 घरों को खाली करायासभी पर्यटकों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया। सभी पर्यटकों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया।मैड्रिड. स्पेन के कनारी द्वीप में भूकंप के जबर्दस्त झटके आए। इसके चलते समुद्र में भी जोरदार लहरें उठीं। 40 फीट ऊंची उठी लहरों ने तट के पास बने अपार्टमेंटों को नुकसान पहुंचाया। द्वीप से 65 घरों को खाली करा लिया गया। तूफान के चलते तेज बारिश हो रही है। मौसम विभाग ने एक हफ्ते तक खराब मौसम रहने की चेतावनी दी है।see more...https://www.bhaskar.com/international/news/powerful-storm-hammered-spain-canary-islands-01318393.html  
  5.  22 -11 -2018 आस्ट्रेलिया में उठा धूल का बवंडर !भारी बारिस बाढ़ आँधी तूफ़ान आदि !सरकार ने जारी की स्वास्थ्य चेतावनी !see MORE.... https://www.patrika.com/miscellenous-world/giant-dust-storm-hits-australia-causing-health-scare-3743069/
                               दिसंबर -2018
  1.  3-12-2018 , अमेरिका में भीषण चक्रवाती तूफान !see more... https://www.punjabkesari.in/international/news/destructive-tornado-strikes-taylorville-illinois-25-people-hurt-913445
  2. 4. By: Satyendra Singh | Publish Date: Tue 04-Dec-2018 07:02:16 AM (IST)मौसम : दक्षिण में आंधी-तूफान तो उत्तर भारत में घना रहेगा कोहरा see more....https://inextlive.jagran.com/weather-today-foreca-st-bulletin-of-north-and-south-india-tuesday-4th-december-2018-201812030030
  3. मौसम : तटीय इलाकों में आंधी-तूफान की चेतावनी,By: Satyendra Singh | Publish Date: Sat 08-Dec-2018 07:01:16 AM (IST)मौसम :दक्षिण भारत के तटीय इलाकों में आंधी-तूफान की चेतावनी देते हुए मौसम विभाग ने मछुआरों को समुद्र में न जाने की सलाह दी है। उत्तर भारत में इन दिनों हवाएं काफी ठंडी चल रही हैं आैर सर्दी भी बढ़ रही है। आज भी यहां न्यूनतम तापमान में गिरावट होने के आसार है। see more....https://inextlive.jagran.com/weather-today-and-foreca-st-bulletin-of-north-and-south-india-saturday-8th-december-2018-201812070021
  4. Dec 09, 2018, 02:51 AM ISTHoshangabad News - cloud rainy season made from cyclone rising from bengalबंगाल से उठे चक्रवात से बने बादल बरसे, धान भीगीHoshangabad News - होशंगाबाद में शनिवार शाम 6 बजे अचानक हुई बारिश ने सबको चौंका दिया। वे आॅफ बंगाल से उठे चक्रवात के कारण अचानक बादल बने हैं। चक्रवात का असर पूरे दक्षिण मप्र में बताया जा रहा है।मौसम सहायक डीएस गौर ने बताया कि अगले दो दिनों तक चक्रवात का असर देखने को मिलेगा। इसके चलते बादल भी बने रहेंगे और हल्की बारिश की संभावना भी बनी रहेगी।चक्रवात का असर होशंगाबाद से लगे जिलों पर होगा। यहां बारिश और हवा चलेगी।see more....https:/ -from-cyclone-rising-frombengal-025152-3378828.html   9. चक्रवात की बारिश से मौसम का बदला मिजाजAmbikapur News - बंगाल की खाड़ी में बने निम्न दाब के प्रभाव से सोमवार को दोपहर बाद मौसम का मिजाज अचानक बदल गया। तेज हवाओं के साथ...Dainik BhaskarDec 11, 2018, 02:00 AM ISTAmbikapur News - revenge of the weather with the cyclone rainबंगाल की खाड़ी में बने निम्न दाब के प्रभाव से सोमवार 10 को दोपहर बाद मौसम का मिजाज अचानक बदल गया। तेज हवाओं के साथ रिमझिम बारिश ने पूरे शहर को भिगो दिया। शहर में करीब 2 मिमी बारिश दर्ज की गई। see more...https://www.bhaskar.com/chhatisgarh/ambikapur/news/revenge-of-the-weather-with-the-cyclone-rain-020055-3388028.html
  5. ओडिशा पर फिर मंडराया चक्रवात का खतराPublish Date:Fri, 14 Dec 2018 05:03 PM (IST)see more...https://www.jagran.com/odisha/bhubaneshwar-cyclone-alert-odisha-cyclone-alert-odisha-18747468.html 
  6. Dainik BhaskarDec 18, 2018, 08:02 AM ISTहैदराबाद. बंगाल की खाड़ी में उठा फेथई तूफान Dec 17 सोमवार दोपहर आंध्रप्रदेश में पूर्वी गोदावरी जिले के तट से टकराया। अधिकारियों के मुताबिक, इसके असर से तटीय जिलों में भारी बारिश हो रही है। हवाओं की रफ्तार 80 किलोमीटर प्रति घंटा थी।see more...https://www.bhaskar.com/national/news/cyclone-phethai-hit-andhra-pradesh-coast-news- updates-01397176.html
  7. इंडोनेशिया में सुनामी से तबाही, 62 की मौतनवभारतटाइम्स.कॉम | Updated:Dec 23, 2018, 11:15AM ISTरिंग ऑफ फायर कहे जानेवाले इंडोनेशिया में फिर सुनामी ने भारी तबाही मचा दी है। ज्वालामुखी द्वीप सुंडा में आई इस सुनामी में अब तक 62 लोगों की मौत हो चुकी है और 600 के घायल होने की खबर है। सुनामी की वजह से तटीय इलाके में बड़ी इमारतें जमीन में मिल गई। समुद्र में चट्टानों के खिसकने के कारण सुनामी आई।see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/world/asian-countries/tsunami-apparently-spawned-by-undersea-landslides-from-volcanic-eruption-in-indonesia/articleshow/67213355.cms
  8. मनीला, भाषा Updated Sun, 30 Dec 2018 04:30 PM ISTफिलीपीन में तूफान का कोहराम, मरने वालों की संख्या बढ़कर 22 हुई!फिलीपीन में सप्ताहांत पर आए एक तूफान के कारण कम से कम 22 लोगों की मौत हुई है। अधिकारियों ने रविवार को बताया कि बाढ़ में डूबे इलाकों में बचाव अभियान चल रहा है।see more....https://www.amarujala.com/world/22-people-dead-in-philippines-due-to-storm
  9. aajtak.in [Edited by: विशाल कसौधन]नई दिल्ली, 28 दिसंबर 2018, अपडेटेड अमेरिका में तूफान, सैकड़ों उड़ानें रद्द, लोगों की छुट्टियां बर्बाद25-12-2018 अमेरिका में तूफान के कारण उड़ानों की निगरानी रखने वाली वेबसाइट फ्लाइटअवेयर के अनुसार, 6,500 से अधिक उड़ानों में देरी हुई और करीब 800 उड़ानें रद्द कर दी गईं.see more....https://aajtak.intoday.in/story/storm-in-the-us-hundreds-of-flights-were-canceled-ruining-people-holidays-1-1050114.html
  10. 12:29 ISTनवजीवन डेस्कPublished: 31 Dec 2018, 5:13 PMEngagement: 46फिलीपींस में तूफान, बाढ़ और भूस्खलन ने भारी तबाही मचाई है। चक्रवाती तूफान उस्मान के चलते मरने वालों की संख्या 68 पहुंच गई है। नेशनल डिजास्टर रिस्क रिडक्शन एंड मैनेजमेंट काउंसिल के मुताबिक, मनीला के बिकोल क्षेत्र में तूफान उस्मान ने शनिवार 29-12-2018को दस्तक दी।अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी। फिलीपींस: ‘उस्मान’ तूफान के कारण मरने वालों की संख्या पहुंची 68, कई लोग अब भी लापता अभी मरने वालों की संख्या और बढ़ने की आशंका है।see more....https://www.navjivanindia.com/international/death-toll-in-philippines-floods-landslides-rises-to-68-many-peoples-missing
                                                                  विशेष

        चुपके से आकर नींद उड़ा रहे बड़े चक्रवात ​आने वाले दिनों में मौसम दुनिया के लिए एक बढ़ा खतरा बनने वाला है। इसका संकेत हाल में बढ़ते चक्रवात हैं। मौसम आशीष तिवारी, नवभारत टाइम्स | Updated:Nov 26, 2018, 03:39AM IST
     विभाग के महानिदेशक केजे रमेश के मुताबिक, जलवायु परिवर्तन के कारण कई ऐसे चक्रवात हैं जिनके आने का अंदेशा ही नहीं हो पा रहा है।see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/metro/lucknow/other-news/the-big-cyclone-that-is-sleeping-quietly/articleshow/66797704.cms