Tuesday, 27 October 2020

 आदरणीया स्वास्थ्य मंत्री जी सादर नमस्कार 

       बिषय : महामारी से संबंधित अनुमान या पूर्वानुमान लगाने के लिए वेदविज्ञान से संबंधित अनुसंधान हेतु मिलने के लिए -

  महोदय,

    इस बिषय में मैंने प्रधानमंत्री जी को कई मेलें भेजी हैं !आपके माध्यम से मेरा सरकार से इतना निवेदन है कि कोरोना जैसी महामारी से सारा विश्व परेशान  हुआ है !इस संकट से समाज को मुक्ति दिलाने के लिए वैज्ञानिकों ने बहुत प्रयास किए हैं इसमें कोई संशय भी नहीं है किंतु उन प्रयासों के प्रभाव से समाज को महामारी से बचाने में विशेष मदद नहीं मिल सकी  है |

      इस महामारी के स्वरूप को समझने में, इसके लक्षण पहचानने में, इसके घटने बढ़ने एवं इसके समाप्त होने संबंधित पूर्वानुमान लगाने में, इसके कारण खोजने में एवं इसके प्रसार के कारण खोजने में तथा इसकी औषधि खोजने में अपेक्षित सफलता नहीं मिल सकी है |इन बिषयों में जो जो बातें बोली गईं वे बाद में बदल दी जाती रही हैं |वैज्ञानिकों की इस दुविधा के कारण ही संक्रमितों की जाँच को, दो गज दूरी को, एकांतबास को ,मॉस्कधारण को ,सैनिटाइजर प्रयोग को एवं लॉकडाउन को  कोरोना की चिकित्सा के रूप में प्रस्तुत किया जाता रहा है इन उपायों का प्रभाव कितना हुआ है इस बिषय में निश्चित तौर पर कहे जा सकने योग्य कोई प्रामाणिक तथ्य नहीं उपलब्ध हैं क्योंकि बहुत लोगों ने ये सभी सावधानियाँ बरतीं हैं उन्हें भी संक्रमण हुआ है जबकि बहुत श्रमिक मजदूर घनी बस्तियों में रहने वाले लोग चाहकर भी कोई सावधानी नहीं बरत सके इसके बाद भी उन्हें कोरोना संक्रमण नहीं हुआ है |

   वेद विज्ञान की दृष्टि से देखा जाए तो महामारी से चारों लहरों के विषय में आगे से आगे पूर्वानुमान मैं पीएमओ की मेल पर भेजता रहा हूँ जो पूरी तरह से सही निकलता रहा है जबकि अन्य अनुसंधानों के द्वारा ऐसा नहीं किया जा सका है |

      ऐसी परिस्थिति में आपसे मेरा विनम्र निवेदन है कि कोरोना जैसी महामारियों के स्वरूप शक्ति स्वभाव एवं संक्रमण को समझने में वेदविज्ञान महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है | इसके द्वारा ऐसी महामारियों के  बिषय में पूर्वानुमान लगाया जा सकता है इसके द्वारा इस बात का भी पूर्वानुमान लगाया जा सकता है कि हवा में व्याप्त कोरोना संक्रमण से संक्रमित होने का खतरा किसे कितना कम और किसे कितना अधिक है तथा इससे संक्रमित व्यक्तियों में से किसके स्वस्थ होने की संभावना कितनी अधिक या कम है | 

     अतएव जनहित में वेद विज्ञान की इस विधा को भी ऐसी महामारियों से संबंधित अनुसंधानों में सम्मिलित करने हेतु मुझे समय देने का कष्ट करें |यही  आपसे मेरा विनम्र निवेदन है | 

                                                                                     निवेदक : 

                                                                    डॉ.शेष नारायण वाजपेयी 

                                                            A -7 \41,कृष्णा नगर दिल्ली -51

                                                                             9811226983

Sunday, 25 October 2020

कोरोना को समझने में असफल रहे वैज्ञानिक अनुसंधान ! सफल हुआ वेदविज्ञान ?

 आदरणीय सांसद श्री गौतम गंभीर जी !

                                                           सादर नमस्कार 

बिषय :मेरे द्वारा किए जा रहे कोरोना महामारी से संबंधित अनुसंधान कार्य में सरकार से मदद हेतु !

    महोदय,

        जिस कोरोना महामारी से संपूर्ण विश्व पीड़ित है किंतु किसी वैज्ञानिक अनुसंधान के द्वारा इस महामारी के प्रारंभ होने या समाप्त होने के बिषय में अभीतक कोई पूर्वानुमान नहीं लगाया जा सका है | इसी प्रकार से यह महामारी मनुष्यकृत है या प्राकृतिक है !इसका विस्तार क्षेत्र कितना है ?इसका प्रसार माध्यम क्या है !इस महामारी की व्याप्ति हवा में है या नहीं तथा इसके संक्रमण घटने बढ़ने पर सर्दी गर्मी वर्षा आदि अलग अलग मौसमसंबंधी गतिविधियों का कोई असर पड़ता भी है या नहीं आदि बातों के  बिषय में मेरी जानकारी के अनुशार किसी वैज्ञानिक अनुसंधान को अभी तक ऐसी कोई सफलता नहीं मिली है जो कल्पनाओं आशंकाओं अंदाजों से अलग हटकर वैज्ञानिक तर्कों के आधार पर प्रमाणित मानने योग्य हो |ऐसी परिस्थिति में सभी की तरह महामारी के बिषय में मेरा भी चिंतित होना स्वाभाविक ही है !

     ऐसी परिस्थिति आयुर्वेद के शीर्षग्रंथ 'चरकसंहिता' में वर्णित प्रक्रिया के आधार पर में मैंने महामारी के बिषय में अनुसंधान प्रारंभ किया था उसके आधार पर महामारी के बिषय में जो सच्चाई पता लगी वो मैनें प्रधानमंत्री जी की मेल पर 19 मार्च 2020 को भेज दी थी | जिसमें लिखा था  "महामारी प्राकृतिक है ,हवा में व्याप्त है,इसके लक्षण खोज पाना असंभव होगा एवं इसकी औषधि नहीं बनाई जा सकेगी !प्रतिरोधक क्षमता विकसित करने से बचाव हो सकेगा और 6 मई से इस महामारी का प्रथम चरण समाप्त हो जाएगा !"

     महामारी के दूसरे चरण के बिषय में प्रधानमंत्री जी को दूसरी मेल मैंने 16 जून 2020 को भेजी थी !उसमें लिखा था कि यह कोरोना महामारी 8 अगस्त 2020 से पुनः बढ़ना प्रारंभ होगी जो क्रमशः बढ़ते बढ़ते 24 सितंबर 2020 तक शिखर पर पहुँचेगी और बिना किसी दवा या वैक्सीन के ही 25 सितंबर 2020 से यह महामारी स्वतः समाप्त होना प्रारंभ होगी जो 16 नवंबर तक क्रमशः हमेंशा हमेंशा के लिए समाप्त होती चली जाएगी | " ऐसा होते भी देखा जा रहा है | 

     मान्यवर !इसके अतिरिक्त भी महामारी के अनुसंधान के लिए उपयोगी कुछ और महत्वपूर्ण तथ्य मुझे मिले हैं उनमें से कुछ और भी मेल के माध्यम से मैंने प्रधान मंत्री जी को भेजे हैं किंतु इनमें से किसी भी मेल का अभी तक मुझे कोई उत्तर नहीं मिल पाया है !

    महोदय !मेरी अनुसंधान प्रक्रिया आयुर्वैदिक एवं खगोलीय विज्ञान पर आधारित है भारतीय प्राचीन विज्ञान की दृष्टि से यही विधा ऐसे अनुसंधानों एवं पूर्वानुमानों के लिए प्रमाणित मानी जाती थी उसी प्रक्रिया के आधार पर सूर्य चंद्र आदि ग्रहणों के बिषय में सैकड़ों वर्ष पहले लगाया गया पूर्वानुमान सच होते देखा जाता है | 

      इसी से संबंधित बिषय में मैंने काशी हिंदू विश्व विद्यालय से पीएचडी भी की है और ऐसे ही प्राकृतिक बिषयों में पिछले 25 वर्षों से मैं अनुसंधान करता आ रहा हूँ |जिसमें कई बिषयों में महत्त्वपूर्ण सफलता मिली है !

      अतएव सांसद जी !आपसे विनम्र निवेदन है कि मेरे द्वारा किए जा रहे इस अनुसंधान कार्य में सरकार से हमारा  सहयोग करवाने हेतु हमारी मदद करें !

                                                                                    निवेदक :

                                                                  डॉ. शेष नारायण वाजपेयी



 

कोरोना को समझने में असफल रहे वैज्ञानिक अनुसंधान ! सफल हुआ वेदविज्ञान ?

     जैसा कि आपको भी पता है कि वैज्ञानिक अनुसंधानों में खर्च किया जाने वाला धन जनता का ही होता है उसका उद्देश्य ऐसे अनुसंधानों के लिए करना होता है जो महामारी के समय समाज की मदद कर सकें !किंतु कोरोना महामारी में किसी भी रूप से वैज्ञानिक अनुसंधानों का कोई विशेष योगदान नहीं रहा है  वैज्ञानिक अनुसंधानों के नाम पर कुछ काल्पनिक किस्से कहानियाँ आशंकाएँ अंदाजे अफवाहें मात्र ही जनता को सुनने को मिलपाई हैं | सरकारें मास्क सैनिटाइजर एकांतबास लॉकडाउन या  संक्रमितों की जॉंच कराने पर ऐसे जोर देती रहीं जैसे ये कोरोना की चिकित्सा या बचाव के वास्तविक उपाय हों !जबकि वैज्ञानिक अनुसंधानों के आधार पर इसके बिषय में भी सरकार विश्वास पूर्वक कुछ कहने की स्थिति में कभी नहीं रही कि ऐसी सावधानियाँ बरतने से कुछ लाभ होता भी है या नहीं | अब कहा जा रहा है कि सर्दी में कोरोना संक्रमण और बढ़ेगा !मेरे अनुसंधान के अनुशार ऐसी बातें जनता को भयभीत करने वाली अफवाहों से ज्यादा कुछ भी नहीं हैं | महामारी के बिषय में मेरे द्वारा लगाए गए पूर्वानुमान अभी तक सही एवं सटीक हुए हैं मेरा विश्वास है कि आगे भी सही होंगे !दुर्भाग्य से ऐसे सही एवं सटीक वेदवैज्ञानिक पूर्वानुमानों को न सरकार महत्त्व दे रही है और न मीडिया जबकि दोनों अपने अपने को कोरोना योद्धा के रूप में प्रचारित करते देखे जाते हैं | मेरी अपेक्षा है कि सरकार एवं मीडिया जनहित में इस सच को भी स्वीकार करे !

        मैंने 19 मार्च को प्रधानमंत्री जी की मेल पर कोरोना के बिषय में जो पत्र भेजा था मेरे द्वारा उसमें 5 बातें साफ साफ लिखी गई हैं -

     1. कोरोना संक्रमण हवा में विद्यमान है (जिसे वैज्ञानिकों ने भी बाद में स्वीकार कर लिया है)

     2. कोरोना संक्रमितों के लक्षण नहीं पहचाने जा सकेंगे (अब वैज्ञानिक भी मान रहे हैं कि कोरोना स्वरूप बदल रहा है)

     3. कोरोना की दवा या वैक्सीन नहीं बनाई जा सकेगी !(आज तक कोई दवा या वैक्सीन नहीं बनाई जा सकी है और बिना वैक्सीन के ही रिकवरी 90  प्रतिशत से अधिक हो गई है ) 

     4. आहार बिहार संयम आदि से शरीरों में निर्मित प्रतिरोधक क्षमता ही कोरोना संक्रमण से बचाव का एकमात्र उपाय होगा (अब वैज्ञानिक भी यही मानने लगे हैं ) 

     5 . पहले चरण का कोरोना संक्रमण 6 मई से समाप्त होने लगेगा !(ऐसा हुआ भी है )

    इसके बाद महामारी के दूसरे चरण के बिषय में मैनें 16 जून को प्रधानमंत्री जी की मेल पर पत्र भेजकर कहा कि 9 अगस्त से 24 सितंबर तक कोरोना संक्रमितों की संख्या दिनोंदिन बढ़ती चली जाएगी !इसके बाद 25 सितंबर से 16 नवंबर तक कोरोना संक्रमण दिनोंदिन स्वयं समाप्त होता चला जाएगा !(आज 26 अक्टूबर है कोरोना संक्रमितों की संख्या दिनों दिन कम होती जा रही है और बिना किसी वैक्सीन के रिकवरी बढ़ती जा रही है |)

     इसके बाद वैक्सीन के विषय में मैंने7सितंबर को प्रधानमंत्री जी की मेल पर तीसरा पत्र भेजकर यह निवेदन किया था कि 25 सितंबर के बाद कोरोना संक्रमण स्वतः समाप्त होने लगेगा और धीरे धीरे हमेंशा हमेंशा के लिए समाप्त होता चला जाएगा |

      इसलिए 25 सितंबर के बाद कोरोना संक्रमण की समाप्ति स्थाई तौर पर प्रारंभ हो जाने के बाद यदि कोई वैद्य डॉक्टर योगी तांत्रिक वैज्ञानिक या कंपनी आदि के द्वारा कोरोना से मुक्ति दिलाने वाली औषधि ,वैक्सीन या टीका आदि बना लेने का दावा किया जाता है तो उसकी सच्चाई पर विश्वास कर लेना न्यायसंगत नहीं होगा |कोरोना जब स्वतः समाप्त होने ही लगेगा तब कोरोना संक्रमितों पर किसी दवा वैक्सीन आदि का परीक्षण ही कैसे संभव हो सकेगा |इसलिए ऐसा कोई दावा सत्यपर आधारित कैसे माना जा सकता है | 

      ऐसी महामारियों के समय अक्सर देखा जाता रहा है कि बहुत चतुर लोग परिस्थिति पर गिद्ध दृष्टि लगाए इस ताक में चुपचाप बैठे रहते हैं कि जैसे ही महामारी समाप्त होने लगती है वैसे ही महामारी से मुक्ति दिलाने वाली औषधि ,वैक्सीन या टीका आदि बना लेने का दावा ठोंकने  लगते हैं इसी बहाने झूठ बोलकर अपना कोई नकारा प्रोडक्ट महँगे दामों में बेच लिया करते हैं महामारी से डरा सहमा समाज मजबूरी में उसे खरीदता खाता है |

     ऐसे झूठे दावों से समाज को बचाने के लिए मैंने जो तीन मेलें प्रधानमंत्री जी को भेजी हैं उन तीनों को यहाँ प्रकाशित कर रहा हूँ | हमें याद रखना चाहिए कि मेल में  एडीटिंग होती नहीं है| फिर भी किसी मीडिया कर्मी या किसी अन्य व्यक्ति को ये मेलें यदि अपनी मेल पर फारवर्ड करवाना हो या इससे संबंधित बिषय में कोई चर्चा करनी हो तो हमें अपनी मेल आईडी  सकते हैं या फोन  सकते हैं -9811226983 

     ये हैं वे तीनों मेलें -


Monday, 19 October 2020

korona -3 three

कुछ हफ्ते में शरीर से गायब हो सकती हैं कोरोना ऐंटिबॉडीज ! 
कोरोना वायरस से संक्रमित मरीज जब इस बीमारी से ठीक हो जाता है। यानी जब उसके टेस्ट नेगेटिव आने लगते हैं, इसके बाद भी करीब 2 सप्ताह तक उसके शरीर में इस वायरस की मौजूदगी रह सकती है। जो अन्य व्यक्तियों को संक्रमित करने कर सकती है।see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/lifestyle/health/corona-effects-after-recovery-people-may-loose-their-immunity-within-a-month-in-hindi/articleshow/76942345.cms

 Updated Dec 29, 2017 | 13:13 IST | टाइम्स नाउ डिजिटल
 ट्रंप ने ग्‍लोबल वार्मिंग का बनाया मजाक, कहा- बर्फीली हवाओं से दिलाएगा राहतदुनिया
अमेरिका का पूर्वी क्षेत्र इन दिनों कड़ाके की सर्दी से गुजर रहा है। सर्द हवाओं ने आम जनजीवन को पूरी तरह अस्‍त-व्‍यस्‍त कर दिया है, पर अमेरिका के राष्‍ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप ने इस मौके का इस्‍तेमाल ग्‍लोबल वार्मिंग पर तंज कसने के लिए किया। उन्‍होंने मजाकिया लहजे में कहा कि धरती के बढ़ते तापमान से शायद कड़ाके की सर्दी से निपटने में मिल सके।see more...https://hindi.timesnownews.com/world/article/extreme-cold-wave-in-us-trump-mocks-global-warming-in-tweet/183392


 By Rahul Kumar | Published: Tuesday, January 29, 2019, 13:44 [IST] नई दिल्li
ट्रंप ने 'ग्लोबल वार्मिंग' का फिर उड़ाया मजाक, 
दरअसल 29 जनवरी को शाम में भयानक ठंड का शिकार हुए मिडवेस्ट रीजन का हवाला देते हुए ट्रंप ने ग्लोबल वार्मिंग को ताना मारते हुए उसे तेजी से वापस आने के लिए कहा है। ट्रंप
ट्वीट किया कि, 'खूबसूरत मिडवेस्ट में ठंडी हवाओं के चलते तापमान माइनस 60 डिग्री तक पहुंच गया है। ठंड ने रिकॉर्ड तोड़ दिया है। आने वाले दिनों में और भी ठंडा होने की उम्मीद है। लोग एक मिनट के लिए भी बाहर नहीं आ पा रहे हैं। ग्लोबल वार्मिंग के साथ क्या हो रहा है?see more...https://hindi.oneindia.com/news/international/donald-trump-says-we-need-global-warming-as-extreme-cold-weather-490896.html

5 मई 2020   जलवायु परिवर्तन
दुनिया के प्रमुख वैज्ञानिक इस बात से सहमत हैं कि जलवायु परिवर्तन मानव-प्रेरित है और चेतावनी देता है कि तापमान में प्राकृतिक उतार-चढ़ाव मानव गतिविधि द्वारा बढ़ाए जा रहे हैं। इसे जलवायु परिवर्तन या ग्लोबल वार्मिंग के रूप में जाना जाता है। मानव गतिविधियों ने कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जन में वृद्धि की है, जिससे तापमान बढ़ रहा है। चरम मौसम और पिघलने वाली ध्रुवीय बर्फ संभावित प्रभावों में से हैं। पृथ्वी का औसत तापमान लगभग 15C है लेकिन अतीत में बहुत अधिक और कम रहा है।जलवायु में प्राकृतिक उतार-चढ़ाव आते हैं लेकिन वैज्ञानिकों का कहना है कि तापमान अब कई गुना अधिक तेजी से बढ़ रहा है।
see more....https://translate.google.com/translate?hl=hi&sl=en&u=https://www.bbc.com/news/world-us-canada-46351940&prev=search

 aajtak.in 22 मई 2020
कोरोना को लेकर अपने देश के वैज्ञानिकों पर भड़के ट्रंप, कही ये बातडोनाल्ड ट्रंप ने इस हफ्ते दो बार कहा कि हमारे देश के वैज्ञानिकों की बात बेसिर पैर की है. उनकी बातों में कोई सबूत नहीं है.see more...https://aajtak.intoday.in/gallery/us-president-donald-trump-lashes-out-scientists-whose-findings-contradict-him-on-covid19-tstr-1-50674.html 

  aajtak.in14 मई 2020
दुनिया में बढ़ते जा रहे मामले, WHO ने दी चेतावनी- कभी खत्म नहीं होगा कोरोना
see more....https://aajtak.intoday.in/gallery/who-warns-coronavirus-may-never-go-away-as-new-clusters-emerge-tlif-1-50272.html

नवभारतटाइम्स.कॉम | Updated: 02 May 2020, 11:04:00 AM IST
 WHO के डॉक्टर बोले, प्राकृतिक रूप से पैदा हुआ है कोरोना
पिछले दिनों अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि उन्होंने ऐसी जानकारी देखी है, जिससे साफ होता है कि कोरोना वायरस चीन के वायरोलॉजी इंस्टीट्यूट में पैदा हुआ। अब WHO ने कहा है कि कोरोना वायरस प्राकृतिक (coronavirus natural origin) तरीके से पैदा हुया है।see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/world/america/who-chief-reiterates-that-coronavirus-had-natural-origin-trump-claim-its-originated-at-china-virology-institute/articleshow/75501306.cms

 लाइव हिन्दुस्तान टीम ,नई दिल्लीLast updated: Tue, 05 May 2020 02:07 PM
 क्या आ गई खुशखबरी? इजरायल के रक्षा मंत्री का दावा, हमने बना ली कोरोना की वैक्सीन
कोरोना वायरस से पूरी दुनिया में हाहाकार मचा है। इस खतरनाक कोविड-19 से लाखों लोगों की मौत हो चुकी है, फिर भी इसका इलाज नहीं मिल पाया है। मगर इस बीच इजरायल के रक्षा मंत्री ने दावा किया है कि उनके देश ने कोरोना वायरस की वैक्सीन बना ली है। रक्षा मंत्री नैफ्टली बेन्‍नेट ने अपने एक बयान में कहा कि इजरायल केsee more...https://www.livehindustan.com/international/story-covid19-update-israeli-defense-minister-naftali-bennett-claims-our-research-team-have-developed-coronavirus-vaccine-3194606.html


News18Hindi Last Updated: April 28, 2020, 9:12 AM IST
 भारत से 26 जुलाई और दुनिया से 9 दिसंबर तक खत्म हो जाएगा कोरोना वायरस- रिसर्च में दावा
दुनियाभर में कोरोना वायरस से अब तक 30 लाख से अधिक लोग संक्रमित हो चुके हैं.
अध्ययन में ये भी बताया गया है कि अमेरिका में 27 अगस्त, स्पेन में 7 अगस्त, इटली में 25 अगस्त और भारत में 26 जुलाई तक कोरोना का अंत हो जाएगा.
SEE MORE...https://hindi.news18.com/news/nation/research-claims-corona-virus-will-end-by-9-december-from-world-and-26-july-in-india-3058780.html
  
चीन के वैज्ञानिक का दावा- 4 हफ्तों में कम होंगे कोरोना वायरस के मामले ! 
02 अप्रैल 2020see more... https://aajtak.intoday.in/gallery/china-top-coronavirus-expert-says-pandemic-will-decline-in-four-weeks-tstr-1-48285.html
 
News18Hindi Last Updated: April 23, 2020, 12:28 AM IST
 कोरोना पर WHO की नई चेतावनी-'गलती मत करना, लंबे समय तक साथ रहेगा वायरस'
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने ये नई चेतावनी कोरोना वायरस (Coronavirus) के लगातार बदलते ट्रेंड को लेकर की है !दुनियाभर में जारी कोरोनावायरस (Coronavirus) के कहर के बीच WHO ने नई चेतावनी (Warning) जारी see more...https://hindi.news18.com/news/world/rest-of-world-who-warns-corona-virus-will-be-with-us-for-long-time-3042733.html
 
मई के पहले सप्ताह में बढ़ेंगे कोरोना के मरीज, फिर तेजी से आएगी कमी!Last Updated: April 17, 2020, 9:44 AM IST
गृह मंत्रालय (Home Ministry) की ओर से किए गए एक आंतरिक सर्वेक्षण में पता चला है कि मई के पहले सप्ताह में कोरोना के मरीजों में काफी तेजी देखने को मिलेगी. हालांकि इसके बाद कोरोना मरीजों की संख्या धीरे-धीरे कम होने लगेगी.see more... https://hindi.news18.com/news/nation/corona-patients-will-increase-in-first-week-of-may-then-will-decrease-rapidly-3024058.html
Ashish Kumar | नवभारतटाइम्स.कॉम | Updated: 18 Apr 2020, 07:20:00 AM IST
भारत में मई के तीसरे हफ्ते तक ही जोर मारेगा कोरोना, उसके बाद मामले घटने के आसार
कोरोना वायरस (Coronavirus) का प्रकोप भारत समेत पूरी दुनिया में फैला हुआ है। हालांकि मई के तीसरे हफ्ते तक कोरोना के भारत में कमजोर पड़ने के आसार हैं। उसके बाद कोरोना के मामले घटेंगे, लेकिन यह इस बात पर निर्भर करता है कि हम कितना ऐहतियात बरतते हैं।see more....https://navbharattimes.indiatimes.com/india/corona-will-continue-to-be-strong-in-india-till-the-third-week-of-may-after-that-cases-will-decrease/articleshow/75214143.cms
 
   भारत में कोरोना: शोध में दावा, रूप बदलकर ज्यादा खतरनाक बन रहा है कोविड-19 वायरस
Coronavirus India Update: भारत में कहर बरपा रहे कोरोना वायरस (corona in india) अब तरह-तरह के रूप बदलकर दुनिया में फैल गया है। यह जानलेवा वायरस अब तक दुनिया में 2 लाख से ज्यादा लोगों की जान ले चुका है। एक नए रिसर्च में पता चला है कि अभी दुनिया के ज्यादातर मुल्कों में अब A2a वायरस कोहराम मचा रहा है।SEE MORE...https://navbharattimes.indiatimes.com/metro/mumbai/other-news/coronavirus-has-mutated-into-10-types-1-dominant-across-regions-study/articleshow/75421576.cms

 Publish Date:Sun, 26 Apr 2020 10:49 PM (IST)
वायु प्रदूषण के कणों पर कोरोना वायरस का चला पता, ज्यादा प्रदूषित इलाके में देखा गया उच्च संक्रमण
पिछले अध्ययनों से पता चला है कि वायु प्रदूषण के कण रोगाणुओं को पनाह देते हैं और इसके जरिये बर्ड फ्लू, खसरा और अन्य बीमारियों के संक्रमण की संभावना रहती है। वायु प्रदूषण के कणों की संभावित भूमिका व्यापक प्रश्न से जुड़ी है कि कोरोना वायरस कैसे फैलता है? संक्रमित लोगों की खांसी और छींक से वायरस से भरी बड़ी बूंदेंsee more....https://www.jagran.com/news/national-scientists-in-italy-find-coronavirus-on-air-pollution-particles-high-infection-seen-in-more-polluted-area-20224117.html

Publish Date:Mon, 27 Apr 2020 07:28 AM (IST)
अमेरिका में कम हो रहा कोरोना वायरस का कहर, 24 घंटों में हुई 1330 लोगों की मौत
see more...https://www.jagran.com/world/america-us-recorded-1330-coronavirus-deaths-in-the-last-24-hours-as-per-johns-hopkins-university-tally-20224955.html
 

लॉकडाउन का 1 महीना: 22 से घटकर 8 पर्सेंट तक आ गए कोराना वायरस के मामले
Edited By Vaibhava Pandey | टाइम्स न्यूज नेटवर्क | Updated: 25 Apr 2020, 07:55:00 AM IST see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/india/during-one-month-of-lockdown-coronavirus-cases-falls-from-22-percent-to-8-percent-in-india/articleshow/75367047.cms


 Last updated: Fri, 24 Apr 2020 10:34 AM
 सनलाइट से जल्दी खत्म हो जाता है कोरोना वायरस, अमेरिकी वैज्ञानिकों ने किया रिसर्च में दावा
होमलैंड सुरक्षा सचिव के विज्ञान और तकनीकी विभाग के सलाहकार विलियम ब्रायन ने व्हाइट हाउस में पत्रकारों कहा कि सरकारी वैज्ञानिकों ने एक रिसर्च में पाया है कि सूरज की पराबैंगनी किरणें पैथोगेन यानी वायरस पर प्रभावशाली असर डालती हैं। उम्मीद है कि गर्मियों में इसका प्रसार कम होगा।
विलियम ब्रायन ने कहा कि हमारी रिसर्च में अब तक सबसे खास बात यह पता चली है कि सोलर लाइट सतह और हवा दोनों में इस वायरस को मारने की क्षमता रखता है। उन्होंने यह भी कहा कि हमने यह भी पाया है कि तापमान और नमी में भी इसी तरह के नतीजे सामने आए हैं। यानी तापमान और नमी में वृद्धि वायरस के लिए फायदेमंद नहीं है।see more....https://www.livehindustan.com/international/story-sunlight-destroys-coronavirus-quickly-say-us-scientists-3171690.html


Updated Date Thu, Apr 23, 2020, 8:13 PM IST
पर्यावरण सचिव ने जानकारी दी है कि कोरोना एक बड़ी चुनौती है. हमारा मूलमंत्र है कि जिंदगी कैसे बचाएं? हम लगातार टेस्टिंग बढ़ाने पर जोर दे रहे हैं. 23 मार्च तक हमने देशभर में महज 14,915 टेस्ट किए थे और अब 22 अप्रैल तक हमने 5 लाख से ज्यादा टेस्ट कर लिए हैं . हालांकि यह पर्याप्त नहीं है और हमें देश में रैंप टेस्टिंग की जरूरत है. see more...https://www.prabhatkhabar.com/national/corona-virus-ministry-of-health-ministry-of-home-affairs-data-country


दम घोंट देता है कोरोना, देखते रह जाते हैं डॉक्टर, वेंटिलेटर भी काम नहीं आता
aajtak.in23 अप्रैल 2020
कोरोना वायरस की वजह से मरीजों का दम घुट रहा है. वेंटिलेटर और लाइफ सपोर्ट सिस्टम भी बेकार साबित हो रहे हैं. डॉक्टर मरीजों को मरते हुए देखते रह जाते हैं. ऐसा हो रहा है दुनिया के कई जगहों पर. लेकिन ये दिक्कत है क्या? क्योंsee more....https://aajtak.intoday.in/gallery/coronavirus-kills-patients-by-silent-hypoxia-low-oxygen-no-solution-tstr-1-49294.html


Last Updated: April 21, 2020, 10:30 AM IST
कोरोना ने बदला मौसम का मिजाज़! भारत में सबसे ठंडा अप्रैल, ब्रिटेन में चल रही लू !
नई दिल्ली/लंदन. कोरोना महामारी (Covid-19 Pandemic) के बीच ब्रिटेन में गर्मी ने पिछले 361 साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है. वहां अप्रैल में भीषण गर्मी और लू चल रही है. ब्रिटेन के मौसम विभाग के मुताबिक, हीथ्रो और पश्चिमी लंदन के नोर्थोल्ट में सोमवार को तापमान 33.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया see more...https://hindi.news18.com/news/nation/britain-is-tipped-for-hottest-april-in-361-years-india-is-coldest-3036361.ht

स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने कहा- देश के 730 जिलों में से 353 में संक्रमण का कोई असर नहीं Last Updated: April 19, 2020, 4:38 PM IST
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन (Harsh Vardhan) ने कहा, ‘हम कोविड-19 से होने वाले नुकसान को काफी हद तक रोकने में सफल रहे हैं. उन्होंने कहा कि देश के कुल 730 जिलों में से 353 में संक्रमण का कोई असर नहीं है. संतोष की बात है कि उपचार के बाद स्वस्थ होने के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं.उन्होंने कहा कि अगर देश में 25 मार्च से 21 दिन का पूर्ण लॉकडाउन नहीं लागू किया गया होता तो भारत की हालत यूरोप के देशों जैसी ही खराब होती ‘तीसरे चरण की स्थिति बनने के कोई आसार नहीं’see more...https://hindi.news18.com/news/nation/health-minister-harsh-vardhan-said-out-of-730-districts-in-the-country-353-have-no-effect-of-infection-3031324.html

 17 अप्रैल 2020 : 19 राज्यों में घटने लगा कोरोना - स्वास्थ्य मंत्रालय

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 संक्रमण के फैलाव में थोड़ी राहत !16 अप्रैल, 2020

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देश में 3 दिन से कम हो रहे कोरोना मरीज, दिल्ली-मुंबई से राहत, राजस्थान-मध्य प्रदेश ने बढ़ाई टेंशन
एजेंसियां,नई दिल्ली!Last updated: Thu, 16 Apr 2020 12:14 PM
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Covid-19: देश में क्या उतर रहा कोरोना का ग्राफ? मुंबई में नए मामलों में 35 % कमी, दिल्ली में सिर्फ 17 नए केस !
Chandra Pandey | टाइम्स न्यूज नेटवर्क | Updated: 16 Apr 2020,
देश में 15 april बुधवार को कोरोना वायरस के नए मामलों में करीब एक चौथाई की कमी आई। सबसे बुरी तरह प्रभावित मुंबई में 35 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई। इसी तरह दिल्ली में बुधवार को सिर्फ 17 नए केस आए जो पूरे अप्रैल महीने में सिंगल डे केस का सबसे कम आंकड़ा है see more...https://navbharattimes.indiatimes.com/india/coronavirus-in-india-curve-flattening-new-cases-dip-in-hotspots-delhi-mumbai-25-percent-drop-in-national-level/articleshow/75172364.cms

 तब्लीगी जमातियों ने दिया झटका तो लॉकडाउन ने थामी कोरोना संक्रमण की रफ्तारPublish Date:Thu, 16 Apr 2020 09:57 AM (IST)
लॉकडाउन से एक सप्ताह पहले यानी 18 से 24 मार्च के बीच के आंकड़े पर यदि हम गौर करें तो उस समय संक्रमितों की संख्या 3.3 दिन में दोगुनी हो रही थी, जबकि लॉकडाउन के पहले सप्ताही यानी 25 से 31 मार्च के बीच मरीजों के दोगुनी होने की दर पांच दिन तक खिंची see more...https://www.jagran.com/news/national-tablighi-jamaat-blow-gave-lockdown-halts-corona-infection-jagran-special-20194710.html


  पशुओं नदियों तालाबों में कोरोना

24 मार्च 2020 |कोरोना वायरस क्या हवा से भी फैल सकता है?see more...https://www.bbc.com/hindi/india-52017709

Last updated: Thu, 26 Mar 2020 09:54 AM
प्राकृतिक है कोरोना वायरस, लैब में नहीं बनाया गया ! 
अमेरिका समेत कई देशों की मदद से हुए एक वैज्ञानिक शोध में दावा किया गया है कि यह वायरस प्राकृतिक है। स्क्रीप्स रिसर्च इंस्टीट्यूट के शोध को नेचर मेडिसिन जर्नल के ताजा अंक में प्रकाशित किया गया है। शोध को अमेरिका के नेशनल इंस्टीट्यूट आफ हेल्थ, ब्रिटेन के वेलकम ट्रस्ट, यूरोपीय रिसर्च काउंसिल तथा आस्ट्रेलियन लौरेट काउंसिल ने वित्तीय मदद दी है तथा आधा दर्जन संस्थानों के विशेषज्ञ शामिल हुए।see more....https://www.livehindustan.com/health/story-coronavirus-covid19-is-natural-not-lab-made-according-to-research-3108806.html
News Nation Bureau | Edited By : Nitu Pandey | Updated on: 20 Apr 2020, 05:30:38 PM

इस देश में पानी में मिला COVID-19

कोरोना वायरस फ्रांस में लगातार कोहराम मचा रखा है. कोरोना से निपटने के लिए यहां लगातार प्रयास किए जा रहे हैं. इसके तहत जब शोध हो रहा था तब गैर पीने योग्य पानी में नए कोरोना वायरस के 'माइनसक्यूल' सूक्ष्म निशान पाए गए !अमेरिका में एक बाघ में कोरोना पाया गया. वहीं कई जगहों में कुत्तों में भी कोरोना के निशान मिले. अब फ्रांस की राजधानी पेरिस में पानी में कोविद-19 (COVID-19) पाया गया है.कोरोना वायरस फ्रांस में लगातार कोहराम मचा रखा है. कोरोना से निपटने के लिए यहां लगातार प्रयास किए जा रहे हैं. इसके तहत जब शोध हो रहा था तब गैर पीने योग्य पानी में नए कोरोना वायरस के 'माइनसक्यूल' सूक्ष्म निशान पाए गए. यहां के एक अधिकारी सेलिया ब्लाउज के मुताबिक गैर पीने योग्य पानी में कोरोना के बेहद ही बारीक निशान (Minuscule traces) मिले हैं.see more... https://www.newsnationtv.com/world/news/coronavirus-new-threat-in-paris-due-to-covid-19-found-in-water-138826.html 

तुमकुरू, 30 जून 2020, अपडेटेड 21:37 IST
चरवाहे को हुआ कोरोना वायरस, बकरियों और भेड़ों को सांस लेने में दिक्कत!
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तंजानिया में बकरी और पपीता फल भी कोरोना पॉजिटिव, राष्ट्रपति ने कहा-टेस्ट किट सही नहींकोरोना वायरस के ये सैंपल बकरी, पॉपॉ फल और भेड़ से लिए गए थे। सैंपल को जांच के लिए तंजानिया की लैब में भेजा गया, जहां बकरी और पॉपॉ फल कोरोना पॉजिटिव निकले।see more... https://navbharattimes.indiatimes.com/world/other-countries/goat-and-fruit-are-also-coronavirus-positive-in-tanzania-president-john-magufuli-said-test-kit-not-correct/articleshow/75546399.cms

Publish Date:Thu, 07 May 2020 09:07 PM (IST)कुत्तों और बल्लियों के बाद, अब ये जानवर भी पाया गया कोरोना वायरस पॉज़ीटिव
 कुत्ते, बिल्ली, बाघ और शेर के कोरोना वायरस से शिकार होने के बाद अब ऊदबिलाव (Mink) भी इस बीमारी से संक्रमित होने वाले जानवरों की लिस्ट में शामिल हो गया है। बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, नीदरलैंड्स के एक फर फार्म में दो ऊदबिलाव नए कोरोना वायरस यानी कोविड-19 से संक्रमित पाए गए।
 डॉक्टर हिचेंस ने कहा कि ऊदबिलाव का कोरोना वायरस से संक्रमित होना हैरान करने वाली बात नहीं है। साल 2003 में जब SARS फैला था, तो कम से कम 16 प्रजातियां इसकी चपेट में आई थीं, जिसमें ऊदबिलाव, बिज्जू (palm civet), चमगादड़, होर्सशू चमगादड़ की कई प्रजातियां, लाल लोमड़ी, जंगली सूअर, रैकून और पाल्तू बिल्ली व कुत्ते जैसे जानवर शामिल थे।साल 2013 में ही ऊदबिलाव को पालना बैन कर दिया था
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Updated Sat, 20 Jun 2020 10:43 AM IST
कोरोना की दूसरी लहर की चेतावनी, इंसानों में काबू के बावजूद जानवर फैला सकते हैं संक्रमण !see more...https://www.amarujala.com/photo-gallery/lifestyle/fitness/coronavirus-latest-research-updates-today-pet-animals-may-spread-second-wave-of-covid-19

 नदी के पानी में कोरोना के लक्षण !
20-4-2020
पेरिस की सीन नदी और अवर्क नहर के पानी में कोरोना कोरोना वायरस का संक्रमण पाया गया है !seemore..... https://www.patrika.com/miscellenous-world/coronavirus-found-in-water-in-paris-6019070/

17-7-2020 कोरोना वायरस: स्पेन में एक लाख ऊदबिलाव को मारने का आदेश ! 
उत्तर-पूर्वी स्पेन के एक फ़ार्म में कई ऊदबिलाव कोरोना वायरस संक्रमित पाए गए हैं जिसके बाद यह फ़ैसला किया गया है.see more....https://www.bbc.com/hindi/international-53441767


लाइव हिन्दुस्तान,वाशिंगटन।Last updated: Fri, 01 May 2020 01:07 AM 
अमेरिका ने अब माना, 'मानवनिर्मित' नहीं है कोविड-19 वायरस, मगर लैब में होती रहेगी जांच
see more...https://www.livehindustan.com/international/story-coronavirus-not-manmade-still-studying-lab-theory-says-us-intelligence-3185926.html

 Publish Date:Tue, 28 Apr 2020 01:27 AM (IST)
हवा में पाया गया कोरोना का जेनेटिक मटेरियल, कैसे कम होगा जोखिम, वैज्ञानिकों ने दी यह सलाह
बीजिंग, पीटीआइ। वैज्ञानिकों ने हवा में कोरोना वायरस की आनुवंशिक सामग्री की उपस्थिति पता लगाया है। लेकिन, वे कहते हैं कि यह स्पष्ट नहीं है कि इन वायरल कणों से बीमारी हो सकती है या नहीं। वुहान, चीन में दो see more...https://www.jagran.com/world/china-coronavirus-genetic-material-detected-in-air-unclear-about-it-causes-disease-20226577.html

Edited By Shailesh Shukla | नवभारत टाइम्स | Updated: 05 May 2020, 09:28:00 AM IST 
तंजानिया में बकरी और फल भी कोरोना पॉजिटिव, राष्ट्रपति ने कहा-टेस्ट किट सही नहींsee more...https://navbharattimes.indiatimes.com/world/other-countries/goat-and-fruit-are-also-coronavirus-positive-in-tanzania-president-john-magufuli-said-test-kit-not-correct/articleshow/75546399.cms 
 
कोरोना के स्वरूप बदलने के बिषय में -

  वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला Updated Wed, 06 May 2020 06:50 AM IST
कोरोना ‘बहुरूपिये’ की रफ्तार धीमी न होती तो ज्यादा खतरनाक होता संक्रमण
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Last Updated: May 7, 2020, 1:50 PM IST कोरोना स्वरूप बदल रहा है ! 

    वायरस खुद को लंबे समय तक प्रभावी रखने के लिए लगातार अपनी जेनेटिक संरचना में बदलाव लाते रहते हैं ताकि उन्हें मारा न जा सके. ये सर्वाइवल की प्रक्रिया ही है, जिसमें जिंदा रहने की कोशिश में वायरस रूप बदल-बदलकर खुद को ज्यादा मजबूत बनाते हैं.  ये प्रक्रिया वायरस को काफी खतरनाक बना देती है और ये जब होस्ट सेल यानी हमारे शरीर की किसी कोशिका पर हमला करते हैं तो कोशिका कुछ ही घंटों के भीतर उसकी हजारों कॉपीज बना देती है. यानी शरीर में वायरस लोड तेजी से बढ़ता है और मरीज जल्दी ही बीमारी की गंभीर अवस्था में पहुंच जाता है !
      रूप बदलने पर अगर वायरस खतरनाक हो जाए तो नई बनाई गई वैक्सीन उस पर असर नहीं करेगी. यही बात पुराने हो चुके वायरस पर भी लागू होती है. जैसे इंफ्लूएंजा की कई तरह की वैक्सीन बन चुकी हैं लेकिन चूंकि कोरोना फैमिली से आने वाला ही इसका वायरस लगातार रूप बदलकर मजबूत हो रहा है, लिहाजा इंफ्लूएंजा में कभी वैक्सीन काम करती है तो कभी नहीं. म्यूटेशन (बदलाव) होना वैक्सीन की प्रक्रिया पर असर डाल सकता है.
      न्यूयॉर्क यूनिवर्सिटी में जीनोम टेक्नोलॉजी सेंटर की प्रोफेसर एड्रियाना हेगेय कहती हैं कि वायरस सर्वाइव करने के लिए हरदम म्यूटेट होते रहते हैं लेकिन इसका उनके फैलने या गंभीरता से संबंध नहीं है. इसी कड़ी में अमेरिका के एरिजोना स्टेट यूनिवर्सिटी ने भी दावा किया कि समय के साथ वायरस कमजोर होगा और शरीर की इम्युनिटी उसका मुकाबला कर सकेगी, जैसा कि सार्स के दौरान हुआ था, जब उसका जेनेटिक सीक्वेंस कमजोर पड़ता गया
     अलग-अलग देशों, महाद्वीपों में इसके अलग-अलग प्रकार सामने आए हैं. ये अपने रूप के अनुसार घातक से लेकर माइल्ड असर कर रहे हैं.चीन में भी Zhejiang University के वैज्ञानिकों ने मिलती-जुलती स्टडी की. इसके नतीजे बताते हैं कि दिसंबर से लेकर 5 महीनों के भीतर वायरस 30 रूप बदल चुका है. इसका सबसे घातक रूप (deadliest virus) दूसरे वायरसों से 270 गुना तेजी से बढ़ता है.see more...https://hindi.news18.com/news/knowledge/coronavirus-mutation-more-dangerous-and-deadly-says-research-mrj-3089446.html 

भारत में रूप बदल रहा है कोरोना, वैक्सीन की खोज को लग सकता है पलीता!
aajtak.in16 अप्रैल 2020ताइवान के नेशनल चेंग्गुआ यूनिवर्सिटी ऑफ एजुकेशन के वी-लुंग वांग और ऑस्ट्रेलिया में मर्डोक विश्वविद्यालय के सहयोगियों ने किया है. शोधकर्ताओं का कहना है कि कोरोना वायरस के रूप बदलने पर यह पहली रिपोर्ट है जिससे वैक्सीन की खोज पर खतरा मंडरा सकता है. . स्वरूप बदलने के कारण संभव है कि इस वायरस की वर्तमान में बन रही वैक्सीन बेकार हो जाए.see more... https://aajtak.intoday.in/gallery/coronavirus-mutation-threatens-race-develop-vaccine-tlif-2-49024.html


Last updated: Sat, 02 May 2020 09:20 AMसमय के साथ कोरोना बदल रहा रूप   
            वक्त के साथ-साथ कोरोना बीमारी का स्वरूप भी बदलता हुआ दिख रहा है। तकरीबन एक महीने पहले कोरोना से ज्यादातर ऐसे लोगों की मौतें हो रही थीं जो पहले से किसी अन्य बीमारी से भी ग्रस्त थे। अब इन आंकड़ों में बदलाव आ रहा है। ऐसे लोगों के मरने का प्रतिशत बढ़ा है, जिन्हें पहले से कोई बीमारी नहीं थी।see more...https://www.livehindustan.com/national/story-people-with-no-symptoms-of-illness-are-now-dying-more-from-coronavirus-3188033.html 
 
 
 
कोरोना अध्ययन
अधिक वायु प्रदूषण क्षेत्र में रहने वाले लोगों पर कोरोना से मरने का अधिकखतरा: शोध
पीटीआई, बोस्टन Updated Wed, 08 Apr 2020 06:35 PM IST
अधिक वायु प्रदूषण वाले क्षेत्रों में रहने से कोविड-19 के कारण मौत होने का अधिक जोखिम है। ऐसा अमेरिका में किए गए एक अध्ययन में दावा किया गया है।
हार्वर्ड टी एच चान स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ के शोधकर्ताओं ने कहा कि शोध में सबसे पहले लंबी अवधि तक हवा में रहने वाले सूक्ष्म प्रदूषक कण (पीएम2.5) और अमेरिका में कोविड-19 से मौत के खतरा के बीच के संबंध का जिक्र किया गया है। ये सूक्ष्म प्रदूषक कण कारों, रिफाइनरियों और बिजली संयंत्रों में see more...https://www.amarujala.com/world/high-air-pollution-to-higher-coronavirus-death-rates-research
  
अमेरिकन स्टडी का दावा- गर्म मौसम नहीं करेगा कोरोना वायरस को रोकने में मदद!

स्टडी में कहा गया है कि सोशल डिस्टेंसिंग और निजी सुरक्षा ही फिलहाल कोरोना वायरस का इलाज है. Last Updated: April 10, 2020, 11:17 AM IST
see more...https://hindi.news18.com/news/world/american-study-claims-hot-weather-will-not-help-prevent-corona-virus-3002263.html

कोरोना वायरस की कोई दवा नहीं फिर भी देश में कैसे ठीक हो रहे हैं लोग?
बीबीसी Updated Wed, 01 Apr 2020 11:06 AM IST
see more...https://www.amarujala.com/india-news/india-fights-coronavirus-by-immunity-social-distancing-good-food-and-lock-down
 
 प्राकृतिक घटनाएँ -
 
aajtak.in 22 अप्रैल 2020
 कोरोना, सूखा और तूफान से अमेरिका खस्ताहाल, ट्रंप पर बड़ी आफत
see more...https://aajtak.intoday.in/gallery/us-facing-three-big-problems-drought-coronavirus-pandemic-storm-hurricane-season-donald-trump-tstr-1-49236.html  मानसी दाश बीबीसी संवाददाता14 मई 2020
 कोरोना वायरस: इस बार मई के महीने में भी गर्मी नहीं, क्या हैं कारण
क्या ये जलवायु परिवर्तन है?सेंटर ऑफ़ साइंस ऐंड एनवायर्नमेन्ट में जलवायु मामलों पर नज़र रखने वाले तरुण गोपालकृष्णण ने बीबीसी को बताया कि केवल उत्तर भारत या पूर्वी भारत में ही नहीं बल्कि दक्षिण भारत में मौसम बीते सालों की अपेक्षा इस साल अलग ही है. see more...https://www.bbc.com/hindi/india-52647738